राजस्थान को स्मार्ट वाटर सप्लाई मॉनिटरिंग सिस्टम के लिए दिल्ली में मिला अवॉर्ड
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राजस्थान को स्मार्ट वाटर सप्लाई मॉनिटरिंग सिस्टम के लिए दिल्ली में मिला अवॉर्ड

तीसरे डिजिटेक कॉन्क्लेव-2022 में राजस्थान को आईओटी आधारित स्मार्ट वाटर सप्लाई मॉनिटरिंग सिस्टम लगाने में उल्लेखनीय काम करने के लिए अवॉर्ड दिया गया. यह समारोह गुरूवार को दिल्ली में आयोजित किया गया था.

राजस्थान को स्मार्ट वाटर सप्लाई मॉनिटरिंग सिस्टम के लिए दिल्ली में मिला अवॉर्ड

Delhi/Jaipur: दिल्ली में गुरूवार को आयोजित तीसरे डिजिटेक कॉन्क्लेव-2022 में राजस्थान को आईओटी आधारित स्मार्ट वाटर सप्लाई मॉनिटरिंग सिस्टम लगाने में उल्लेखनीय कार्य करने के लिए अवॉर्ड दिया गया. जलदाय मंत्री डॉ. महेश जोशी ने यह अवार्ड लिया. इकॉनोमिक टाइम्स डिजिटेक कॉन्क्लेव-2022 को सम्बोधित करते हुए जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी मंत्री डॉ. महेश जोशी ने कहा कि राजस्थान जैसे प्रदेश की विषम भौगोलिक परिस्थितियों के कारण पेयजल प्रबंधन के क्षेत्र में प्रदेश को कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है. मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नेतृत्व में इन चुनौतियों को हमने अवसर में बदलते हुए पेयजल का बेहतर प्रबंधन किया है.

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गहलोत के नेतृत्व में डिजिटल टेक्नोलॉजी, आईटी और कम्प्यूटर का उपयोग अंतिम छोर पर बैठे व्यक्ति तक योजनाओं का लाभ पहुंचाने के लिए किया जा रहा है. देश में पहली बार राजस्थान सरकार की ओर से 1 करोड़ 33 लाख परिवार की महिला मुखिया के हाथ में स्मार्ट फोन देकर उन्हें डिजिटल क्रांति से जोड़ा जाएगा. डॉ. जोशी ने कहा कि राजस्थान ने डिजिटल टेक्नोलॉजी का प्रयोग करते हुए पायलट प्रोजेक्ट के तहत सर्वाधिक गांवों में आईओटी आधारित स्मार्ट वाटर सप्लाई मॉनिटरिंग सिस्टम स्थापित किए हैं. जल जीवन मिशन में पायलट प्रोजेक्ट के तहत चयनित जयपुर जिले के 15 गांवों में नलों के माध्यम से पेयजल आपूर्ति की रियल टाइम मॉनिटरिंग के लिए आईओटी (इंटरनेट ऑफ थिंग्स) आधारित स्मार्ट वाटर सप्लाई मॉनिटरिंग सिस्टम लगाए गए हैं. इस सिस्टम में पेयजल आपूर्ति की लाइन की शुरूआत, पाइप लाइन के ब्रांच नोड और टेल नोड पर सेंसर्स लगाए गए हैं. इन सेंसर्स को इंटरनेट से जोड़ा गया है.

इंटरनेट के माध्यम से सेंसर्स की ओर से जुटाया गया डेटा का आदान-प्रदान और मॉनिटरिंग की जाती है. सेंसर्स के माध्यम से यह भी जानकारी मिलती है कि टंकी का पानी शुद्ध है और उसमें किसी तरह का कंटेमिनेशन नहीं है. साथ ही टेल एंड के उपभोक्ता को जो पानी मिल रहा है उसका प्रेशर कितना है, फ्लो कैसा है, पीएच वैल्यू, टीडीएस, क्लोरीन एवं फ्लोराइड कितनी मात्रा में है इसका डेटा भी सेंसर्स से प्राप्त होता है. डॉ. जोशी ने राजस्थान को अवार्ड के लिए चुनने पर इकॉनोमिक टाइम्स को साधुवाद दिया. अतिरिक्त मुख्य सचिव जन स्वास्थ्य अभियांत्रिकी डॉ. सुबोध अग्रवाल ने अवार्ड समारोह में राजस्थान सरकार की ओर से प्रदेश में निवेश के अनुकुल माहौल बनाने और जल संरक्षण के लिए किए जा रहे प्रयासों और जल प्रबंधन की दिशा में उठाए गए कदमों की जानकारी दी.

Reporter- Asheesh Maheshwari

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