वाराणसी का काशी विश्वनाथ मंदिर यूपी ही नहीं दुनियाभर में फेमस है. काशी विश्वनाथ मंदिर देश के 12 ज्योतिर्लिंगों में से एक है. सावन में यहां लाखों की संख्या में भक्त दर्शन करने आते हैं.
प्रयागराज का मनकामेश्वर मंदिर सरस्वती घाट के पास यमुना नदी के किनारे स्थापित है. मान्यता है कि यहां भगवान शिव से मन्नत मांगने पर हर मनोकामना पूर्ण होती है. सावन में यहां लंबी-लंबी लाइनें लगती हैं.
लखीमपुर खीरी में गोला गोकर्णनाथ मंदिर स्थापित है. यह छोटी काशी के नाम से भी फेमस है. यहां रोजाना बड़ी संख्या में शिव भक्त दर्शन करने आते हैं. वहीं, सावन में शिवभक्तों की संख्या बढ़ जाती है.
हापुड़ में गढ़ मुक्तेश्वर गंगा नदी के किनारे बसा है. यहां मुक्तेश्वर शिव मंदिर और प्राचीन शिवलिंग कारखंडेश्वर स्थापित है. सावन में यहां हजारों की संख्या में भक्त दर्शन करने आते हैं.
राम नगरी अयोध्या में भी भगवान शिव का मंदिर है. यहां सवान के महीने में बड़ी संख्या में कांवड़िये बाबा का जल चढ़ाने पहुंचते हैं. यहां की शिव बारात देशभर में फेमस है.
बाराबंकी का लोधेश्वर महादेव मंदिर भगवान भोलेनाथ के प्रसिद्धों मंदिरों में से एक है. यहां सावन के महीने में लाखों कांवड़िये लोधेश्वर महादेव मंदिर जल चढ़ाने पहुंचते हैं. सावन के महीने में यहां लंबी लाइनें लगती हैं.
आगरा के बल्केश्वर महादेव मंदिर में करीब 600 साल पुरानी शिवलिंग स्थापित है. सावन में शिवलिंग पर जल चढ़ाने के लिए लाखों की संख्या में भक्त और कांवड़िये यहां पहुंचते हैं.
मथुरा के वृंदावन में गोपेश्वर महादेव मंदिर वंशी बट और यमुना नदी के किनारे बना है. सावन के महीने में भगवान भोलेनाथ के शिवलिंग का दर्शन करने बड़ी संख्या में भक्त पहुंचते हैं.
गोंडा के पृथ्वीनाथ मंदिर की स्थापना महाबलशाली भीम ने किया था. पाप से मुक्ति पाने के लिए भीम ने भगवान शिव की शिवलिंग स्थापित की थी. सावन में यहां हजारों की संख्या में रोजाना भक्त पहुंचते हैं.
बागपत का पुरा महादेव मंदिर में सावन के महीने में बड़ी संख्या में भक्त दर्शन करने आते हैं. मान्यता है कि भगवान परशुराम ने इस मंदिर की स्थापना की थी.