पूर्वांचल एक्सप्रेसवे और बुंदेलखंड एक्सप्रेसवे के बाद यूपी को एक और नये एक्सप्रेसवे की सौगात मिलने जा रही है. नया एक्सप्रेसवे पूर्वांचल को बंगाल से जोड़ेगा. इसके बाद यूपी से बंगाल तक पहुंच आसान हो जाएगी.
बता दें कि बनारस से कोलकाता के लिए करीब 710 किलोमीटर लंबा छह लेन का एक्सप्रेसवे प्रस्तावित है. इस एक्सप्रेसवे को बनारस चंदौली रूट से जोड़ने की तैयारी है.
इसके लिए करीब 27 किलोमीटर लंबा बेल्ट बनाया जाएगा. इसमें करीब 1500 करोड़ रुपये का खर्च आएगा. इसके बाद चंदौली जिले से भी कोलकाता पहुंचा जा सकता है.
अभी तक जीटी रोड के जरिए वाराणसी को कोलकाता से जुड़ा है. इसमें ट्रैफिक ज्यादा होने से मालवाहक से लेकर सामान्य लोगों को दिक्कतें होती थीं. अब इससे छुटकारा मिलेगा.
एनएचएआई के अधिकारियों ने बताया कि बनारस से कोलकाता का जो ग्रीन फील्ड प्रोजेक्ट तैयार किया जाएगा. उसमें बनारस से चंदौली का 27 किलोमीटर का प्रोजेक्ट है.
बनारस से चंदौली को जोड़ने वाले 27 किलोमीटर बेल्ट को जोड़ने के लिए जनवरी महीने से काम शुरू भी हो गया है. अभी वाराणसी से कोलकाता के लिए एनएच-2 जीटी रोड का एक ट्रैफिक जाता है.
इसके अलावा कोई और विकल्प नहीं है. लेकिन यह एक्सप्रेस-वे बन बनने से एक और विकल्प मिल सकेगा. इससे जीटी रोड पर होने वाले ट्रैफिक को कम किया जा सकेगा.
साथ ही यात्रियों को कोलकाता के लिए एक नया रूट भी मिलेगा. यह लगभग़ 1500 करोड़ रुपये का प्रोजेक्ट है.
इसके बनने से गोरखपुर, आजमगढ़, मऊ, बलिया, गाजीपुर, जौनपुर, प्रयागराज, लखनऊ और दिल्ली से आने वाले रास्ते चंदौली होते हुए बिहार झारखंड, बंगाल, कोलकाता तक जा सकेंगे.
उन्हें शहर के बीच में नहीं आना होगा और नये एक्सप्रेस-वे से वाहनों में बिना ब्रेक लगाए सीधा कोलकाता पहुंच सकेंगे.
अभी वाराणसी से कोलकाता पहुंचने में करीब 12 से 14 घंटे का सफर लगता है. नया एक्सप्रेसवे बनने से यह सफर मात्र 6 से 7 घंटे का हो जाएगा.
लेख में दी गई ये जानकारी सामान्य स्रोतों से इकट्ठा की गई है. इसकी प्रामाणिकता की पुष्टि स्वयं करें. एआई के काल्पनिक चित्रण का जी यूपीयूके हूबहू समान होने का दावा या पुष्टि नहीं करता.