Decision On Abortion Of Unmarried Women: आज का दिन आधी आबादी के लिए एक तारीखी दिन है. सुप्रीम कोर्ट ने 25 साल की अविवाहिता की 24 हफ्ते के गर्भ को अबॉर्ट कराने की याचिका पर फैसला सुनाते हुए सभी महिलाओं को गर्भपात का अधिकार दिया है. फिर चाहें वो विवाहित हो या अविवाहित. दरअसल दिल्ली हाईकोर्ट ने 16 जुलाई को महिला की इस मांग को खारिज कर दिया था. जिसमें महिला ने हाईकोर्ट को बताया था कि वह सहमति से सेक्स के चलते प्रेग्नेंट हुई, लेकिन बच्चे को जन्म नहीं दे सकती क्योंकि वह एक अविवाहित महिला है और उसके साथी ने उससे शादी करने से इनकार कर दिया है. तब मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा. मेडिकल टर्मिनेशन ऑफ प्रेग्नेंसी एक्ट के तहत 22 से 24 हफ्ते तक गर्भपात कराया जा सकता है. इसके साथ ही अदालत ने MTP एक्ट के तहत मैरिटल रेप को भी शामिल करने की बात कही. कोर्ट ने विस्तार पूर्वक व्याख्या करते हुए माना की विवाहित महिलाएं भी सेक्शुअल असॉल्ट और रेप सर्वाइवर्स के दायरे में आती है. गौरतलब है कि अमेरिका से बेहतर भारत में अबॉर्शन को लेकर कानून है, जिसके तहत 12 से 20 हफ्ते तक के गर्भ को एक डॉक्टर की सलाह पर गर्भपात कराया जा सकता है. देखें वीडियो
Thank you
By clicking “Accept All Cookies”, you agree to the storing of cookies on your device to enhance site navigation, analyze site usage, and assist in our marketing efforts.