Smart City Ranking: मंगलवार को देश भर के सभी स्मार्ट सिटी को लेकर स्मार्ट सिटी मिशन ने रियल टाइम रैंकिंग जारी की है. इस बार रैंकिंग नये मापदंडों के आधार पर की गयी है. स्मार्ट शहरों की इस सूची में इंदौर सबसे टॉप पर कायम है, जिसे 200 अंक प्राप्त हुए हैं. उदयपुर, सूरत, आगरा और अहमदाबाद क्रमशः दूसरे तीसरे, चौथे और पांचवे नम्बर पर हैं.
Trending Photos
पटना: Smart City Ranking: देश के स्मार्ट शहरों की रैंकिंग आ चुकी है, लेकिन ये रैंकिंग बिहार के लिए शर्मसार करने वाली स्थिति को सामने रखती है. खासतौर पर पटना के लिए तो यह बिल्कुल भी राहत भरी खबर नहीं है. असल में स्मार्ट सिटी की ताजा रैंकिंग के टॉप 75 में बिहार का कोई शहर नहीं है. रियल टाइम रैंकिंग में बिहार के शहर फिसड्डी ही साबित हुए हैं. राजधानी पटना की स्थिति और बुरी है. यह शहर पिछले साल के रैंकिंग से 28 पायदान नीचे गिर कर 54वें स्थान से 82वें स्थान पर पहुंच गया है. बिहार की चार स्मार्ट सिटी में भी पटना सबसे नीचे है.
रियल टाइम रैंकिंग जारी
मंगलवार को देश भर के सभी स्मार्ट सिटी को लेकर स्मार्ट सिटी मिशन ने रियल टाइम रैंकिंग जारी की है. इस बार रैंकिंग नये मापदंडों के आधार पर की गयी है. स्मार्ट शहरों की इस सूची में इंदौर सबसे टॉप पर कायम है, जिसे 200 अंक प्राप्त हुए हैं. उदयपुर, सूरत, आगरा और अहमदाबाद क्रमशः दूसरे तीसरे, चौथे और पांचवे नम्बर पर हैं. रैंकिंग में भागलपुर जहां 76वें, मुजफ़्फ़रपुर 78वें और बिहारशरीफ 81वें स्थान पर है. पटना इन सबके बाद 82वें स्थान पर आया है. पिछली बार पटना 54वें स्थान पर था. उम्मीद थी कि इस बार के सुधार से राजधानी का स्थान टॉप 50 में तो आ ही जाएगा, लेकिन एक साल में स्थिति सुधरी नहीं, बल्कि और खराब हो गई. पटना बिहार के घोषित चारों स्मार्ट शहर मुजफ़्फ़रपुर, भागलपुर और बिहारशरीफ से भी नीचे चला गया है.
पटना को मिला 0
स्मार्ट सिटी के मानदंडों को पूरा नहीं करने पर पटना को जीरो अंक मिला है, वहीं खर्च किये गये फंड को लेकर माइनस 10 अंक पटना को मिले हैं, जबकि फिजिकल और फाइनेंशियल प्रोग्रेस के लिए निर्धारित 50 अंक में से पटना को माइनस 10 अंक मिले हैं. पटना को 250 में से महज 16.83 अंक मिल सके हैं. पटना में स्मार्ट शहर को लेकर कई परियोजनाओ की घोषणा की गई हैं पर कुछ को छोड़कर सभी परियोजनाए अधर में लटकी हुई हैं. स्मार्ट सिटी के परियोजनाओं के समय से पूरा नही करने के कारण पटना फिसड्डी साबित हो रहा है, जबकि दूसरे राज्यों के शहर स्मार्ट परियोजनाओं को लेकर आगे हैं. पटना में चल रहे स्मार्ट सिटी के परियोजनाओं पर गौर करें तो फिलहाल 50 फीसदी काम भी पूरा नहीं हुआ है, वहीं कुछ योजनाएं वर्षों से पड़ी हुई हैं.
यह भी पढ़िएः किशनगंज रेलवे स्टेशन के परिसर में हुआ जलभराव, यात्री हो रहे परेशान