Chandigarh Mayor Election: चंडीगढ़ मेयर चुनाव में निर्वाचन अधिकारी द्वारा की गई गड़बड़ी पर सुप्रीम कोर्ट ने सख्त नाराजगी जाहिर की है. कोर्ट ने चुनाव का वीडियो देखने के बाद कहा है कि ये साफ नजर आ रहा है कि निर्वाचन अधिकारी मतपत्र खराब कर रहा है.
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Chandigarh Mayor Election: चंडीगढ़ मेयर चुनाव में निर्वाचन अधिकारी द्वारा की गई गड़बड़ी पर सुप्रीम कोर्ट ने सख्त नाराजगी जाहिर की है. कोर्ट ने चुनाव का वीडियो देखने के बाद कहा है कि ये साफ नजर आ रहा है कि निर्वाचन अधिकारी मतपत्र खराब कर रहा है. ये लोकतंत्र का माखौल उड़ाना, उसकी हत्या करने जैसा है. उस पर मुकदमा चलना चाहिए. सुप्रीम कोर्ट ने निर्वाचन अधिकारी को व्यक्तिगत रूप से पेश होकर सफाई देने को कहा है. कोर्ट ने इसके साथ ही अगले आदेश तक निगम की मीटिंग पर रोक लगा दी है.
आप पार्षद की याचिका
कोर्ट ने ये आदेश आम आदमी पार्टी के पार्षद कुलदीप कुमार की याचिका पर सुनवाई करते हुए दिया. कुलदीप कुमार ने चंडीगढ़ मेयर चुनाव में धांधली का आरोप लगाते हुए चुनाव परिणामों पर रोक लगाने की मांग की थी. चुनाव में बीजेपी के उम्मीदवार मनोज सोनकर विजयी घोषित किये गए थे. मनोज कुमार को 16 वोट मिले, वहीं आप-कांगेस के उम्मीदवार कुलदीप कुमार को महज 12 वोट. चुनाव का परिणाम इसलिए भी हैरान कर देने वाला था कि सदन में आप-कांग्रेस के कुल 20 पार्षद होने की वजह से उनका बहुमत था. चुनाव में आठ वोट रद्द करार दिए गए थे. ये आठ वोट उन्ही पार्षदों के थे, जो आप-कांग्रेस के गठबंधन से जुड़े थे.
HC से राहत नहीं मिली
कुलदीप कुमार ने पहले चुनाव में धांधली का आरोप लगाते हुए पंजाब हरियाणा हाईकोर्ट का रुख किया था. लेकिन हाईकोर्ट ने सिर्फ नोटिस ही जारी किया और रोक का कोई आदेश दिए बिना ही सुनवाई को तीन हफ्ते के लिए टाल दिया. इसके बाद कुलदीप कुमार ने राहत के लिए सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था.
SC में क्या हुआ
सुप्रीम कोर्ट में याचिका चीफ जस्टिस डी वाई चंद्रचूड़, जस्टिस मनोज मिश्रा और जस्टिस जे बी पारदीवाला की बेंच के सामने लगी. कुलदीप कुमार की ओर से वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी पेश हुए. उन्होंने कोर्ट के सामने वो पेन ड्राइव पेश की, जिसमें चुनाव का वीडियो था. बेंच ने उस वीडियो को देखकर निर्वाचन अधिकारी के रवैये पर नाराजगी जाहिर की.
निर्वाचन अधिकारी को तलब किया
चीफ जस्टिस ने नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि वीडियो में यह साफ नजर आ रहा है कि निर्वाचन अधिकारी मतपत्रों को खराब कर रहा है. वो बार-बार भगोड़े की तरह कैमरे की तरफ क्यों देख रहा है? जो हरकत उसने की है उसके लिए उस पर मुकदमा चलना चाहिए. क्या एक चुनाव अधिकारी से इस तरह की आचरण की उम्मीद की जा सकती है? चीफ जस्टिस ने कहा कि हम इस हरकत को देखकर स्तब्ध हैं. यह लोकतंत्र का माखौल उड़ाने, उसकी हत्या करने जैसा है. उसे इस बात का आभास होना चाहिए कि सुप्रीम कोर्ट यह सब देख रहा है.
अभी कॉरपोरेशन कोई फैसला नहीं लेगी
सुप्रीम कोर्ट ने म्युनिसिपल इलेक्शन से जुड़ा सारा रिकॉर्ड हाईकोर्ट के रजिस्ट्रार के पास सुरक्षित रखने को कहा है. इसके अलावा कोर्ट ने अगली सुनवाई तक म्युनिसिपल कॉर्पोरेशन की आगे की सभी गतिविधि पर रोक लगा दी है. 7 फरवरी को होने वाली कॉरपोरेशन की अगली मीटिंग भी अभी स्थगित रहेगी. सुप्रीम कोर्ट में अगली सुनवाई सोमवार को होगी.