Eknath Shinde: 28 नवंबर की बैठक में एकनाथ शिंदे ने बीजेपी आलाकमान से कहा था कि भले उनको पूरे पांच साल के कार्यकाल के लिए मुख्यमंत्री नहीं बनाया जाए तो कम से कम उनको छह महीने के लिए सीएम के पद पर बने रहने दिया जाए.
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Maharashtra Politics: महाराष्ट्र में आज तय होने जा रहा है कि बीजेपी की तरफ से कौन मुख्यमंत्री बनेगा? वैसे रेस में तो सबसे आगे देवेंद्र फडणवीस को माना जा रहा है लेकिन बीजेपी सरप्राइज देने वाली पार्टी है. बहरहाल सीएम के पद पर बीजेपी की दावेदारी की तस्वीर साफ होने के साथ ही 28 नवंबर को दिल्ली में हुई बैठक को लेकर भी जानकारी सामने आने लगी है. 23 नवंबर को चुनावी नतीजे आने के बाद 27 नवंबर को एकनाथ शिंदे ने ऐलान किया था कि वो पीएम नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री अमित शाह के फैसले का स्वागत करेंगे और रास्ते में बाधक नहीं होंगे. उन्होंने ये कहा था कि 28 नवंबर को दिल्ली में बीजेपी आलाकमान के साथ उनकी बैठक होगी और वहां पर सब तय होगा.
द टाइम्स ऑफ इंडिया ने बैठक में मौजूद वरिष्ठ राजनेता के हवाले से खबर प्रकाशित की है कि उस बैठक में एकनाथ शिंदे ने बीजेपी आलाकमान से कहा था कि भले उनको पूरे पांच साल के कार्यकाल के लिए मुख्यमंत्री नहीं बनाया जाए तो कम से कम उनको छह महीने के लिए सीएम के पद पर बने रहने दिया जाए. लेकिन बीजेपी आलाकमान ने इस पेशकश को ठुकराते हुए कहा कि ऐसा करना सही नहीं होगा और इससे गलत संदेश जाएगा. उनसे ये भी कहा गया कि छह महीने के लिए सीएम बनाने की ऐसी कोई मिसाल नहीं है और प्रशासनिक स्तर पर इसका बुरा असर पड़ेगा. उस बैठक में अमित शाह और एकनाथ शिंदे के अलावा, देवेंद्र फडणवीस, प्रफुल्ल पटेल और एनसीपी के प्रदेश अध्यक्ष सुनील तटकरे मौजूद थे.
शिंदे हो गए खामोश
टाइम्स की रिपोर्ट के मुताबिक बैठक की शुरुआत में शिंदे ने ये मांग उस वक्त की जब उन्होंने बीजेपी को याद दिलाया कि लोकसभा चुनाव और उसके बाद विधानसभा चुनावों से पहले उनसे ये कहा जाता रहा है कि यदि महायुति (बीजेपी-शिवसेना-एनसीपी) को स्पष्ट बहुमत मिलेगा तो उनको ही मुख्यमंत्री बनाया जाएगा. इस पर उनसे कहा गया कि जब बीजेपी को लगभग स्पष्ट बहुमत मिला है तो ऐसा करना सही नहीं होगा. गौरतलब है कि 288 सदस्यीय विधानसभा में बीजेपी को अकेले 132 सीटें मिली हैं. शिवसेना को 57 और तीसरी सहयोगी एनसीपी को 41 सीटें मिली हैं. इस जनादेश का हवाला देते हुए एकनाथ शिंदे से ये भी कहा गया कि आप अपने आपको खुद को बीजेपी अध्यक्ष के रूप में रखकर सोचें कि यदि आपको इतनी सीटें मिली होतीं तो क्या आप सीएम पद पर अपनी पार्टी की दावेदारी छोड़ते. यानी यदि आपका स्पष्ट बहुमत मिलता तो क्या आप सीएम पद पद दावेदारी छोड़ते? इस सवाल का कोई जवाब शिंदे नहीं दे सके और चुप हो गए.
उसके अगले दिन दिल्ली से लौटने के बाद शिंदे अपने गांव चले गए और वहां बीमार पड़ गए. दो दिन वहां रहने के बाद वो ठाणे स्थित अपने घर लौटे. कल शाम को आखिरकार वो मुंबई स्थित मुख्यमंत्री आवास वर्षा पहुंचे. उसके बाद देवेंद्र फडणवीस उनसे मिलने पहुंचे. उसके बाद अंदरखाने से ये खबर आ रही है कि शिंदे को अब डिप्टी सीएम के पद पर बने रहने के लिए राजी कर लिया गया है. आज शाम तक बीजेपी विधायक दल के बैठक होने के बाद कल के शपथ ग्रहण और मंत्रिपरिषद के गठन की सारी तस्वीर स्पष्ट हो जाएगी.