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नहीं रहे छत्तीसगढ़ के 'शांतिदूत'! जानिए कौन हैं बंशीलाल नेताम, जिन्होंने नेपाल में तोड़ा दम

Banshilal Netam Death: छत्तीसगढ़ के 'शांतिदूत' के नाम से मशहूर बंशीलाल नेताम का निधन हो गया है. वे माउंट एवरेस्ट की चढ़ाई पर निकले थे. इस दौरान अचानक उनकी तबीयत खराब हो गई. नेपाल में इलाज के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया. उनके निधन की खबर से लोगों में शोक व्याप्त है.

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Chhattisgarh News: नक्सली इलाकों में 'शांतिदूत' कहे जाने वाले और कई नक्सलियों की गोलियों का शिकार बनने वाले बंशीलाल नेताम इस दुनिया को अलविदा कह गए हैं. माउंट एवरेस्ट पर चढ़ाई के दौरान उनकी मौत हो गई है. जानते हैं उनके बारे में- 

 

छत्तीसगढ़ के 'शांतिदूत'

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छत्तीसगढ़ के 'शांतिदूत'

छत्तीसगढ़ के 'शांतिदूत'  बंशीलाल नेताम छत्तीसगढ़ में कमांडो ट्रेनर थे. साथ ही उन्हें 'छत्तीसगढ़ का शांतिदूत' भी कहा जाता था. उन्होंने सोमवार को आखिरी सांस ली. 

 

माउंट एवरेस्ट

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माउंट एवरेस्ट

माउंट एवरेस्ट बंशीलाल नेताम लगभग 8850 मीटर ऊंची माउंट एवरेस्ट की चोटी पर चढ़ने और उसे फतह करने के लिए अप्रैल महीने में नेपाल गए थे.उन्होंने 19 मई को 6400 मीटर तक की चढ़ाई पूरी की थी. 

 

चढ़ाई के दौरान बिगड़ी तबीयत

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चढ़ाई के दौरान बिगड़ी तबीयत

चढ़ाई के दौरान बिगड़ी तबीयत 20 मई को माउंट एवरेस्ट पर चढ़ई के दौरान उनकी तबीयत अचानक बिगड़ गई. इसके बाद उन्हें नेपाल के एक अस्पताल में इलाज के लिए भर्ती कराया गया. अस्पताल में करीब 1 हफ्ते के बाद इलाज के दौरान उन्होंने दम तोड़ दिया. 

 

साइकिलिंग में विश्व रिकॉर्ड

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साइकिलिंग में विश्व रिकॉर्ड

साइकिलिंग में विश्व रिकॉर्ड  बंशीलाल नेताम ने साइकिल चलाते हुए चार महानगरों को जोड़ने वाले स्वर्णिम चतुर्भुज की 6000 KM की यात्रा 16 दिन और 16 घंटे में पूरा की थी. इसके लिए उनका नाम गोल्डन बुक ऑफ वर्ल्ड रिकॉर्ड्स में दर्ज किया गया है.

 

भारत भ्रमण

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भारत भ्रमण

भारत भ्रमण बंशीलाल नेताम ने साल 2003 में पूरे भारत का भ्रमण किया था. इसके बाद साल 2018 में उन्होंने फिर से बाइक से भारत का भ्रमण किया, जिसकी दूरी लगभग 29,000 KM थी.

 

एवरेस्ट शिखर तक पहुंचना था लक्ष्य

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एवरेस्ट शिखर तक पहुंचना था लक्ष्य

एवरेस्ट शिखर तक पहुंचना था लक्ष्य बंशीलाल नेताम अपनी तीन ट्रेनी आदिवासी लड़कियों के साथ 8848 मीटर ऊंचे माउंट एवरेस्ट के शिखर पर पहुंचना चाहते थे, लेकिन उनका ये सपना अधूरा रह गया. उनके निधन की खबर ने सभी को स्तब्ध करके रख दिया है.