Mohan Sarkar: मध्य प्रदेश में मोहन यादव सरकार ने अपने एक महीने का रिपोर्ट कार्ड पेश कर दिया है, जिसमें भविष्य की योजनाओं की झलक दिखी है. सीएम मोहन यादव ने सरकार को लेकर नई टैगलाइन भी दी है.
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CM Mohan Govt One Month Completed: मध्य प्रदेश में 'मोहन सरकार' का एक महीना पूरा हो गया है, जिसका रिपोर्ट कार्ड भी सरकार ने पेश कर दिया है. खास बात यह है कि सरकार ने एक टैगलाइन भी जारी की है, जिसमें 'रामराज्य बनेगा हमारी पहचान मोदी जी की गारंटी का परिणाम' कहा गया है. यानि इस टैगलाइन में ही सरकार के आगे की योजनाओं की झलक दिखती है.
सरकार ने 1 महीने के कामकाज का गिनाया
सीएम मोहन यादव ने सरकार के महीने के कामकाज के बारे में भी जानकारी दी है. जिसमें बताने की कोशिश की गई है कि सरकार बनने के बाद से ही बीजेपी ने एक्शन दिखाया है, जिसमें गरीब और वचिंत वर्ग को सरकार की प्राथमिकता में सबसे ऊपर दिखाया गया है.
रामराज्य का एजेंडा
मोहन सरकार का फोकस 22 जनवरी को होने वाले राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा के कार्यक्रम में बना हुआ है. ऐसे में सरकार के एजेंडे में रामराज्य की परिकल्पना दिखाई गई है, जिसके तहत श्रीराम वन पथ गमन का विकास, चित्रकूट, उज्जैन और ओरछा में चरणबद्ध तरीकें से विकास कार्यों को पूरा करना लक्ष्य रखा गया है. इसके अलावा धार्मिक क्षेत्रों में सख्ती से नियमों को लागू करवाना भी हिंदुत्व का एजेंडा दिखता है. वहीं सरकार ने अपनी प्राथमिकता में गरीब वर्ग को सबसे ऊपर रखा है, जो रामराज्य की परिकल्पना का अहम हिस्सा माना जाता है, यानि हर योजना का समनव्यय गरीबों के हित में ही किया जाएगा.
मोदी की गारंटी
मध्य प्रदेश में बीजेपी ने विधानसभा चुनाव 'मोदी की गारंटी' की टैगलाइन के साथ लड़ा था, जिसका असर अब सरकार के कामकाज में भी दिख रहा है. मोहन सरकार ने इसलिए अपनी टैगलाइन में शामिल किया है, सरकार इस बात पर सबसे ज्यादा जोर दे रही हैं कि जिन वादों को विधानसभा चुनाव में किया गया था, उन वादों को पूरी तरह से पूरा किया जाएगा. जबकि यहं भी मैसेज जनता के बीच देने की कोशिश की जा रही है कि पीएम मोदी के मार्गदर्शन में मध्य प्रदेश को केंद्र सरकार से भी जनहित योजनाओं का पूरा लाभ मिलेगा.
नौकरशाही पर सख्ती
इन सब के अलावा सीएम मोहन यादव के एक महीने के कार्यकाल में जो सबसे खास बात दिखी है, वह नौकरशाही पर सख्ती है. यानि बीजेपी ने अफसरों पर सख्ती दिखाने की कोशिश की है. सीएम मोहन यादव ने एक महीने के दौरान कई जिलों के कलेक्टरों को बदला और ब्यूरोक्रेसी में एक मैसेजे देने की कोशिश की है कि जनता के बीच रहकर जनता के लिए काम करना होगा. कुल मिलाकर मोहन सरकार के एक महीने के कामकाज में आगे की योजनाओं की झलक दिखती है.
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