vaJaipur News: जयपुर के एसएमएस अस्पताल में सर्वर ठप, डॉक्टर्स के चेंबर खाली, मरीजों को भारी परेशानी
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vaJaipur News: जयपुर के एसएमएस अस्पताल में सर्वर ठप, डॉक्टर्स के चेंबर खाली, मरीजों को भारी परेशानी

Jaipur News: जयपुर के एसएमएस अस्पताल में सर्वर ठप होने से मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. अस्पताल के पर्ची काउंटर से लेकर बिलिंग तक लंबी कतारें लगी हुई हैं. मरीजों के दर्द के आगे अस्पताल प्रशासन बेखबर है, जिससे दूर-दराज से आए मरीज परेशान हो रहे हैं. सर्वर ठप होने के कारण डॉक्टर्स के चेंबर खाली हैं और इलाज ठप हो गया है. मरीजों को घंटों कतार में लगना पड़ रहा है, लेकिन अस्पताल प्रशासन सर्वर को लेकर बेखबर है.
 

vaJaipur News: जयपुर के एसएमएस अस्पताल में सर्वर ठप, डॉक्टर्स के चेंबर खाली, मरीजों को भारी परेशानी
Jaipur News: जयपुर के एसएमएस अस्पताल में आज 12 बज कर 35 मीनिट पर सर्वर ठप हो जाने के कारण मरीजों और उनके परिजनों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ा. अस्पताल के पर्ची काउंटर से लेकर बिलिंग काउंटर तक लंबी कतारें लगी रहीं. मरीजों की संख्या तो बढ़ती गई, लेकिन सर्वर की समस्या का समाधान नहीं हुआ.
 
अस्पताल में अलग-अलग जगहों से इलाज कराने आए मरीज अपनी समस्याओं से जूझते रहे. कोई कमर दर्द से परेशान था तो कोई बुखार से पीड़ित. गंगापुर सिटी से आए एक मरीज ने बताया कि वह सुबह से कतार में खड़ा है, लेकिन अब तक उसकी पर्ची नहीं बन पाई है. यूपी से आए एक अन्य मरीज ने कहा, "इलाज के लिए इतनी दूर से आए हैं, लेकिन यहां के हालात देखकर अब वापस लौटने का मन हो रहा है."
 
डॉक्टर्स के चेंबर भी खाली दिखे, क्योंकि पर्ची और अन्य दस्तावेज नहीं बनने के कारण मरीजों का इलाज शुरू नहीं हो सका. मरीज और उनके परिजन यह समझने में असमर्थ थे कि इतनी बड़ी समस्या का समाधान अस्पताल प्रशासन के लिए इतनी देरी से क्यों हो रहा है.
 
अस्पताल प्रशासन ने सर्वर की समस्या की जानकारी नही होना बताया, कतार में खड़े एक व्यक्ति ने कहा, "यहां तो भगवान समझे जाने वाले डॉक्टर भी सर्वर के भरोसे हैं. जब तक सर्वर ठीक नहीं होगा, शायद ही किसी को इलाज मिल पाए."
 
प्रशासन की इस लापरवाही से मरीजों को जो परेशानी झेलनी पड़ी, उसने अस्पताल की व्यवस्थाओं पर बड़ा सवाल खड़ा कर दिया है. सरकार और संबंधित विभागों को इस ओर ध्यान देना होगा ताकि भविष्य में ऐसी समस्याओं से मरीजों को न जूझना पड़े.
 

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