Rajasthan BJP: राजस्थान विधानसभा चुनाव के नतीजे आने के बाद जीतने वालों के खेमें में जश्न है. तो वहीं, हारने वालों के खेमें में दुख, उदासी और मायूसी है.तो कोई हार के बाद भी खड़ा होने का हौसला रख रहा है. लेकिन पिछले दो दिनों से बीजेपी के पूर्व अध्यक्ष सतीश पूनिया का ट्वीट चर्चा में है. आज एक बार फिर से पूनिया ने ट्वीट कर सफाई दी है.
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BJP leader Satish Poonia: बीते दिन एक खबर चली कि सतीश पूनिया राजनीति से ब्रेक लेंगे. लेकिन इस खबर के बाद पूनिया ने ट्वीटकर के अपने आगामी जीवन के बारे में सफाई दी है. बता दें कि सतीश पूनिया राजस्थान बीजेपी के दिग्गज नेता हैं. पूर्व प्रदेश अध्यक्ष भी रह चुके हैं. लेकिन राजस्थान विधानसभा चुनाव से आमेर सीट पर उनको हार का सामना करना पड़ा है. अपनी हार के बाद से पूनिया काफी उदास हैं. हार का दर्द उनके ट्वीट पर छलक रहा है.
राम राम, नमस्कार मित्रों,
मैंने भावनाओं से प्रेरित होकर एक भावुक पोस्ट की थी, उसके द्वारा यह व्यक्त करना चाहता हूँ कि आमेर के अधिकांश सच्चे कार्यकर्ताओं ने पार्टी के लिए अथक परिश्रम भी किया है और प्रबुद्ध लोगों ने पार्टी के पक्ष में मतदान भी किया है, जो इस परिस्थिति में भी पार्टी…— Satish Poonia (@DrSatishPoonia) December 5, 2023
राम राम सा,
लोकतंत्र में जनता जनार्दन होती है, मैं आमेर की जनता के निर्णय को स्वीकार करता हूँ और कांग्रेस के विजयी प्रत्याशी श्री प्रशान्त शर्मा जी को बधाई देता हूँ, आशा करता हूँ कि वो आमेर के विकास को यथावत गति देते रहेंगे और जन भावनाओं का सम्मान करेंगे।आमेर से मेरा रिश्ता दस…
— Satish Poonia (@DrSatishPoonia) December 4, 2023
राम सा,
लोकतंत्र में जनता जनार्दन होती है,मैं आमेर की जनता के निर्णय को स्वीकार करता हूं और कांग्रेस के विजयी प्रत्याशी प्रशांत शर्मा जी को बधाई देता हूं,आशा करता हूं कि वो आमेर के विकास को यथावत गति देते रहेंगे और जन भावनाओं का सम्मान करेंगे.
आमेर से मेरा रिश्ता दस बरसों से है, 2013 में पार्टी के निर्देश पर चुनाव लड़ने आया था, चुनाव में मात्र 329 वोटों की हार हुई लेकिन भाजपा की सरकार के दौरान हमने यहां विकास को मुद्दा बनाकर काम किया, हालांकि लोग कहते हैं कि यहां बड़ी-बड़ी जातियों का बाहुल्य है, और जातियों के इस जंजाल में जाति से ऊपर उठकर कोई विकास की सोचें थोड़ा मुश्किल है, 2013-2018 में हमने कोशिश की,थोड़ा सफल हुए,विकास कार्यों से लेकर कोरोना के दौरान सेवाकार्यों से लोगों में भरोसा पैदा करने की कोशिश की थी लेकिन शायद लोगों को समझाने में हम विफल रहे.
माना कि चुनाव में हार जीत एक सिक्के के दो पहलू हैं लेकिन आमेर की यह हार मेरे लिए सोचने पर मजबूर करने वाली है एक आघात जैसी है,हमने सपने देखे थे कि आमेर इस बार रिवाज बदलेगा और हम मिलकर सरकार के माध्यम से कार्यकर्ताओं का सम्मान और जनता का बेहतरीन काम करके इसे आदर्श विधानसभा क्षेत्र बनाएँगे लेकिन ऐसा नहीं हुआ,
यह समय मेरे लिए कठिन परीक्षा की घड़ी जैसा है परन्तु परिस्थितियों और मनोवैज्ञानिक रूप से मैं यह निर्णय करने के लिए मजबूर हूं कि मैं अब भविष्य में आमेर क्षेत्र के लोगों और कार्यकर्ताओं को सेवा और समय नहीं दे पाऊंगा, पार्टी नेतृत्व को भी मैं अपने निर्णय से अवगत करवाकर आग्रह करुंगा कि यहां कि समस्याओं के समाधान के लिए योग्य व्यक्तियों की नियुक्ति करें, साथ ही एक लंबे अरसे से पार्टी संगठन को पूरा समय देने के कारण पारिवारिक कामों से दूर रहा हूं,अत: अब मैं कुछ समय अपने पारिवारिक कामों को पूरा करने में लगाऊंगा, ईश्वर मुझे.
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