Jalore: जिला कलेक्टर ने किया स्कूली बालिकाओं से संवाद, कही ये बड़ी बात
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Jalore: जिला कलेक्टर ने किया स्कूली बालिकाओं से संवाद, कही ये बड़ी बात

जिला कलेक्टर ने बालिकाओं को प्रेरित करते हुए उन्हें स्वयं के प्रति ईमानदार रहकर मेहनत करने का मूलमंत्र दिया. उन्होंने विद्यार्थी जीवन के अपने अनुभव साझा करते हुए बालिकाओं द्वारा पूछे गए सवालों के जबाव दिए. उन्होंने छात्राओं से रूबरू होकर रूचि के अनुसार लक्ष्य निर्धारित करते हुए विद्यालय की महिला शिक्षिकाओं से भी प्रेरणा लेने की बात कही. 

 Jalore: जिला कलेक्टर ने किया स्कूली बालिकाओं से संवाद, कही ये बड़ी बात

Jalore: जिला कलेक्टर निशान्त जैन ने राजकीय बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय प्रताप चौक पहुंच बालिकाओं से संवाद किया. उन्होंने नो बैग डे पर भाषा एवं वाचन कौशल विषय पर स्कूल में संचालित किए जा रहे कार्यक्रम में बालिकाओं से बात कर उनका मनोबल बढ़ाया.

जिला कलेक्टर ने बालिकाओं को प्रेरित करते हुए उन्हें स्वयं के प्रति ईमानदार रहकर मेहनत करने का मूलमंत्र दिया. उन्होंने विद्यार्थी जीवन के अपने अनुभव साझा करते हुए बालिकाओं द्वारा पूछे गए सवालों के जबाव दिए. उन्होंने छात्राओं से रूबरू होकर रूचि के अनुसार लक्ष्य निर्धारित करते हुए विद्यालय की महिला शिक्षिकाओं से भी प्रेरणा लेने की बात कही. उन्होंने बालिकाओं को जीवन में खूब मन लगाकर पढ़ने एवं जीवन में सफलता हासिल करने को लेकर शुभकामनाएं दी. उन्होंने बालिकाओं से पढ़ाई के साथ ही खेलकूद एवं सहशैक्षिक गतिविधियों में भी भाग लेने की बात कही.

कार्यक्रम में बालिकाओं ने मुंशी प्रेमचन्द, कबीर, हजारीप्रसाद द्विवेदी का परिचय देते हुए दोहे एवं कविताएं सुनाई साथ ही लोकोक्तियां, मुहावरे, पर्यायवाची इत्यादि पर परस्पर प्रश्नोत्तर शैली में संवाद करते हुए एक-दूसरे का शैक्षिक स्तर परखा. इस दौरान जिला कलेक्टर ने उपस्थित शिक्षकों को आर्थिक रूप से कमजोर वर्ग की बालिकाएं, जो कक्षा 12वीं में अध्ययनरत है और मेडिकल एवं इंजीनियरिंग परीक्षाओं की तैयारी के लिए कोचिंग की इच्छुक हैं, उनका मुख्यमंत्री अनुप्रति कोचिंग योजना के तहत आवेदन करवाने की बात कही.

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गौरतलब है राज्य सरकार के निर्देशानुसार प्रत्येक शनिवार को नो बैग डे मनाया जाता है. नो बैग डे कार्यक्रम बच्चों के मानिसिक, तार्किक एवं वाचन क्षमता के विकास को समर्पित है. इस दिन सह पाठ्यक्रम गतिविधियों के आयोजन से बच्चों के शारीरिक एवं बौद्धिक विकास में सहायता मिलती है. इस दौरान सहायक निदेशक शांतिलाल दवे, एसीबीईओ रमेश खोरवाल, प्रधानाचार्या ज्ञानी राठौड़ सहित शिक्षक एवं कर्मचारी उपस्थित रहे.

Reporter-Dungar Singh

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