Birbhum: मजे की बात यह है कि इस आम का पेड़ दो साल पहले लगाया गया था, फिर हाल ही में गांव के लोगों को पता चला कि ये आम दुनिया का सबसे महंगा आम है तो वहां लोगों की लाइन लग गई. इसे देखने के लिए लोग दूर-दूर से आने लगे.
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Miyazaki Mango: इस समय आम का मौसम चल रहा है और भारत के कई प्रदेशों में तरह-तरह के आमों की वैरायटी पाई जाती है. लेकिन इसी बीच पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले में एक आम का पेड़ जबरदस्त चर्चा में बना हुआ है. हुआ यह कि इस आम ने नीलामी में इतनी बड़ी कीमत कमाई कि इसे दुनिया का सबसे महंगा आम का खिताब मिल गया. इस आम के पेड़ को दो साल पहले एक स्थानीय शख्स ने लगाया था. आइए इस आम के बारे में जानते हैं.
दरअसल, यह घटना पश्चिम बंगाल के बीरभूम जिले की है. मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक इस आम की प्रजाति का नाम 'मियाजाकी' है. बीरभूम के दुबराजपुर में एक स्थानीय मस्जिद में इस आम को लगाया गया था. बताया गया कि इसे दो साल पहले यहां लगाया गया था. इसी बीच हाल ही में ग्रामीणों को पता चला कि ये आम दुनिया का सबसे महंगा आम है. इसके बाद शुक्रवार को वहां के अधिकारियों ने इसकी नीलामी कर डाली.
हालांकि उन्होंने कमाई का आंकड़ा तो जारी नहीं किया है लेकिन अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत 2 लाख 70 हजार रुपए प्रति किलो बताई जाती है. ऐसे में अगर एक किलो में 3 आम भी चढ़ते हैं तो अंदाजा लगाया जा सकता है कि एक आम की कीमत लगभग 90 हजार रुपए होगी. इस आम के कुछ पौधे झारखंड के जामताड़ा में भी लगाए गए हैं.
असल में आमतौर पर जापान में पाए जाने वाले इस आम का वजन 350 ग्राम होता है. एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक मूल रूप से जापान के मियाजाकी शहर से आने वाली आम की यह किस्म अप्रैल से अगस्त के बीच उगाई जाती है. मियाजाकी आम जैसे-जैसे पकता है, वह लोगों को हैरान करता है. खासकर इसका रंग सबको चौंकाता है. इसका रंग बैंगनी होता है. हालांकि, एक बार जब यह पूरी तरह पक जाता है, तो यह लाल रंग में बदल जाता है.
फिलहाल यह आम चर्चा में है. यह भी जानकारी सामने आई है कि सैयद सोना नाम का एक शख्स दो वर्ष पहले विदेश यात्रा पर गया था, वह वहां से मियाजाकी का पौधा ले आया, जिसे उसने मस्जिद परिसर में लगाया. अब वह पौधा एक पेड़ बन गया है और पेड़ पर 8 आम लगे हैं. इस आम का वास्तविक नाम तैयो-नो-टोमागो बताया गया है