नई दिल्ली: उत्तर प्रदेश में रोडवेज बसों का किराया करीब 24 प्रतिशत बढ़ाये जाने पर समाजवादी पार्टी (सपा) के मुखिया अखिलेश यादव ने मंगलवार को उत्तर प्रदेश की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के नेतृत्व वाली सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि ऐसा लगता है कि राज्य सरकार ‘‘इन्वेस्टर्स समिट’’ का खर्च जनता से वसूलना चाहती है.
भाजपा के हटने से ही हटेगी महंगाई?
अखिलेश यादव (Akhilesh Yadav) ने मंगलवार को ट्वीट कर कहा, 'बस का किराया 24 प्रतिशत बढ़ाकर क्या उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार 'इन्वेस्टर्स समिट' का खर्चा जनता की जेब से निकालना चाहती है क्योंकि उन्हें मालूम है, न अब तक पिछला निवेश आया है और न अगला आएगा. अमीरों की पोषक भाजपा ने महंगाई को गरीब और आम जनता की नियति बना दिया है. भाजपा के हटने से ही महंगाई हटेगी.'
उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम (यूपीएसआरअीसी) ने सोमवार को सामान्य बसों के किराए में प्रति किलोमीटर 25 पैसे की बढ़ोतरी की है. उप्र सरकार 10 से 12 फरवरी तक राजधानी लखनऊ में 'इन्वेस्टर्स समिट' का आयोजन कर रही हैं.
साधारण बसों के किराये में कितनी हुई बढ़ोतरी
राज्य परिवहन प्राधिकरण के अध्यक्ष एल. वेंकटेश्वर लू ने सोमवार को इसकी अधिसूचना जारी की. वेंकटेश्वर लू की ओर से जारी अधिसूचना के मुताबिक उत्तर प्रदेश राज्य सड़क परिवहन निगम की साधारण बसों के किराये की अधिकतम दरें प्रति यात्री एक रुपये 30 पैसे प्रति किलोमीटर की दर से निर्धारित की गयी है.
यूपीएसआरटीसी की वेबसाइट के मुताबिक अब तक निगम की साधारण बसों का किराया प्रति किलोमीटर प्रति यात्री एक रुपये पांच पैसे लिए जाते थे. इस हिसाब से साधारण बसों के किराये में प्रति किलोमीटर 25 पैसे की वृद्धि हुई है.
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