नई दिल्लीः Health Tips: बुखार आते ही ज्यादातर लोग सबसे पहले पैरासिटामोल की टेबलेट खाते हैं. आपने भी आसपास सुना होगा कि बुखार आ रहा है तो पैरासिटामोल खा लो. लेकिन कुछ लोगों से के मुंह से आपने ये भी सुना होगा कि पैरासिटामोल खाने से लिवर पर असर पड़ सकता है. क्या सच में ऐसा होता है. इस बारे में जाने माने डॉक्टर शिव कुमार सरीन ने हाल ही में ANI को दिए इंटरव्यू में जानकारी दी.
पैरासिटामोल लिवर के लिए कैसा है?
उन्होंने बताया कि बुखार आने पर पैरासिटामोल की टेबलेट खाई जा सकती है. दिन में 2 से 3 पैरासिटामोल खाई जा सकती है लेकिन प्रत्येक डोज में आधी गोली खाई जा सकती है. लिवर शरीर का बॉस होता है. ये ठीक रहता है तो शरीर गतिशील और सेहतमंद रहता है.
उन्होंने डायबिटीज को लेकर भी बात की. उन्होंने कहा कि डायबिटीज अगर हो जाता है तो वह अपने साथ बाकी बीमारियों को भी ले आता है. यह हमारे शरीर को बर्बाद कर सकता है. यही वजह है कि लिवर का ठीक रहना जरूरी है. फैटी लिवर का ठीक तरह से उपचार किया जाना चाहिए.
अगर हम अपने शरीर की आवश्यकता से ज्यादा कैलोरी लेते हैं तो यह लिवर में वसा के रूप में जमा जाता है. लिवर के वजन से 5 फीसदी कम वसा होना चाहिए. तभी हमारा शरीर स्वस्थ रहता है. इससे ज्यादा होने पर यह हमारे लिए चिंता की बात हो सकती है.
अग्नाशय से कंट्रोल होता है डायबिटीज
हमारे शरीर का डायबिटीज अग्नाशय से कंट्रोल होता है. अग्नाशय इंसुलिन बनाता है जो लिवर के लिए काफी जरूरी है लेकिन लिवर में सूजन और वसा जम जाती है तो कोशिकाएं इंसुलिन अवशोषित नहीं कर पाती है. इसके बाद अग्नाशय को और इंसुलिन बनानी पड़ती है. ऐसा करते-करते हमारा अग्नाशय थक जाता है. फिर इंसुलिन बनाना बंद कर देता है. इसके बाद डायबिटीज शुरू हो जाता है.
(Disclaimer: यहां दी गई सभी जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. Zee Bharat इसकी पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.)
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