Prabowo Subianto: भारत में गणतंत्र दिवस के मौके पर आने वाले मुस्लिम देश इंडोनेशिया के राष्ट्रपति बेहत खास हैं. वह गाजा में अपने सैनिक भेजने की वकालत कर चुके हैं. वह अमेरिका में पढ़े और राष्ट्रपति ट्रंप से बेहतर रिश्ते होने की उम्मीद है.
Trending Photos
Prabowo Subianto: भारत में इस बार गणतंत्र दिवस बहुत ही धूमधाम से मनाया जा रहा है. यह भारत का 76वां गणतंत्र दिवस है. इस मौके पर भारत ने सबसे ज्यादा मुस्लिम आबादी वाले देश के राष्ट्रपति प्रबोवो सुबियांटो (Prabowo Subianto) को चीफ गेस्ट के तौर पर बुलाया है. वह इंडोनेशिया के ऐसे चौथे नेता हैं जिन्हें भारत ने खास मौके पर बुलाया है. 23 जनवरी को वह भारत के बाद सबसे पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मिले. इंडोनेशिया भारत के साथ अपने राजनीतिक, डिफेंस और सुरक्षा सहयोग को मजबूत करना चाहता है. इस खबर में हम आपको प्रबोवो सुबियांटो के बारे में खास बाते बता रहे हैं.
1. परिवार
प्रबोवो एक संपन्न परिवार से आते हैं. उनके वालिद, सुमित्रो जोजोहादिकुसुमो, इंडोनेशिया के सबसे बेहतरीन अर्थशास्त्रियों में से एक थे. वह उन कुछ लोगों में से थे जिन्होंने राष्ट्रपति सुकर्णो और सुहार्तो दोनों के मंत्रिमंडल में काम किया था.
2. शादी
प्रबोवो ने लंदन में अमेरिकन स्कूल में पढ़ाई की. 1983 में प्रबोवो ने पूर्व राष्ट्रपति सुहार्तो की बेटी सिती हेदियाती हरियादी से शादी की. 1998 में सुहार्तो के सत्ता से बेदखल होने के तुरंत बाद यह जोड़ा अलग हो गया. उनका एक बेटा है.
3. इल्जाम
1998 में सेना से बर्खास्त होने से पहले प्रबोवो पर पापुआ और पूर्वी तिमोर में छात्र कार्यकर्ताओं के किडनैप करने और लोगों को हक को दबाने के इल्जाम लगे हैं. हालाकि, 2024 में, निवर्तमान राष्ट्रपति जोको विडोडो ने उन्हें चार सितारा जनरल का पद दिया.
यह भी पढ़ें: इस मुस्लिम देश में कई कैदियों को मिलेगी जेल से मुक्ति, राष्ट्रपति ने क्यों उठाया ये कदम?
4. अमेरिका जाने पर पाबंदी
मानवाधिकारों के हनन के इल्जामों की वजह से, प्रबोवो के संयुक्त राज्य अमेरिका में प्रवेश पर पहले ही वास्तविक प्रतिबंध लगा दिया गया था. हालांकि, उनके खिलाफ़ इल्जाम साबित नहीं हुए. प्रबोवो ने इन इल्जामों को खारिज किया है.
5. ट्रंप को मुबारकबाद
जब ट्रंप ने अमेरिकी राष्ट्रपति पद जीता, तो प्रबोवो दुनिया के उन पहले नेताओं में से एक थे, जिन्होंने उन्हें फोन करके मुबारकबाद दी और उन्हें "सर" कहकर खिताब किया. जब ट्रंप ने उनकी अंग्रेजी की तारीफ की, तो प्रबोवो ने कथित तौर पर जवाब दिया, "मेरी सारी ट्रेनिंग अमेरिकी है, सर."
6. गाजा में सैनिक भेजने की वकालत
तत्कालीन राष्ट्रपति जोकोवी विडोडो के अधीन रक्षा मंत्री रहे प्रबोवो ने पिछले जून में सिंगापुर में शांगरी-ला वार्ता में सभी का ध्यान अपनी ओर खींचा था. उन्होंने इंडोनेशियाई शांति सैनिकों के गाजा में जाने के बारे में बात की थी.