Virat Kohli Vs South Africa : 70 हजार दर्शकों से भरा खचाखच स्टेडियम। मानो ब्लू जर्सी में नीला समंदर बना ईडन गार्डन बर्थ डे बॉय विराट कोहली की सेंचुरी तय मान रिटर्न गिफ्ट देने आई हो।
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India Vs South Africa Highlights: ओ विराट, विराट, विराट। हर्षा भोगले के ये शब्द वैसे ही हैं जैसे कमेंट्री करते हुए टोनी ग्रेग के। सैंडस्टॉर्म के बाद शरजाह में सचिन तेंदुलकर का स्टॉर्म आया था 1998 में। ऑस्ट्रेलियाई माइकल कास्प्रोविच की कुटाई कर रहे थे। उधर कमेंट्री बॉक्स में टोनी उसी अंदाज में -This is a man Bradman would ever near be.This is high. What a six. Its bouncing around on the roof. आज क्रिकेट के किंग कोहली क्रिकेट के भगवान के 49 वन डे शतकों की बराबरी कर चुके हैं। भगवान का आशीर्वाद ट्वीट के जरिए मिल गया है- मुझे 50 तक पहुंचने में 365 दिन लगे, तुम कुछ दिनों में ये कर लोगे।
दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ ईडन गार्डन में शरजाह जैसा तूफान नहीं था। इसकी जरूरत भी नहीं थी। वक्त का तकाजा था शुभमन गिल और रोहित शर्मा के बाद पारी के शेप देने का। बर्थ डे बॉय विराट कोहली 35 वें शरद में नरम रूप में दिखे। सचिन का वही रूप जिसके लिए उनकी आलोचना भी होती है। आप ठीक समझ रहे हैं। अपनी सेंचुरी के लिए खेलने की तोहमत। रुक कर आ रही गेंद और पिच के अंदाज को बाहर बैठे फैन्स कई बार नजरअंदाज कर देते हैं। एक समय मैं भी सोच रहा था कि विराट ने रोहित और गिल की सारी मेहनत पर पानी फेर दिया। लेकिन ऐसा था नहीं।
मैच का रिजल्ट विराट कोहली की कैलकुलेटेट बैटिंग का गवाह है। इस वर्ल्ड कप में रासी वैन डेर डुसेन, क्लासेन और डिकॉक का तूफान कैसे ईडन पर ठंडा पड़ गया, उसे देखें तो कोहली की पारी विराट दिखेगी। बर्थ डे वाली शतकीय पारी विराट के दिलों में दर्ज रहेगी। 35 साल के विराट पूरी टीम और स्टैंड में बैठे फैन्स के दिलों में राज करते हैं। सचिन जैसा संयम नहीं है। सचिन अपना आक्रमण बैट से करते थे। विराट के पास और भी हथियार हैं। दिल्ली का लड़का है। चलेगा। वो ईशान किशन के भोजपुरी नंबर पर डांस भी करना जानते हैं। और दर्शक दीर्घा से आ रही सारा भाभी के नारे पर क्या रेस्पॉंड करना है, ये भी जानते हैं। स्लिप में फील्डिंग करते हुए वन टू का फोर, फोर टू का वन, मेरा नाम है लखन.. नंबर पर डांस मूव भी दिखाते हैं। 35 साल के बच्चे हैं विराट कोहली।
सचिन जैसी एक और चीज गौर करने लायक है किंग कोहली में। दबाव और बुरे वक्त से आगे बढ़ना। सचिन टेनिस एल्बो और खराब फॉर्म से कई बार निकले उसी तरह विराट। अभी ज्यादा दिन थोड़े हुए जब सेंचुरी के लगे साल बीत जाने पर कोसे जा रहे थे। मुझे तो 2015 का वर्ल्ड कप याद है। जाती जिंदगी पर कितने हमले हुए। अनुष्का शर्मा को फ्लाइंग किस दे दिया तो टीम की हार के लिए भी जिम्मेदार ठहरा दिए गए। लेकिन जीत कर निकले। सचिन की तरह जब सेंचुरी के बाद उन्होंने बल्ला ऊपर उठाया और कुछ बुदबुदाए तो वो सुकून का सबसे बड़ा पल होगा। इकलौता प्लेयर है विराट जो 2011 का वर्ल्ड कप दिलाने वाली टीम में था और आज का वर्ल्ड कप खेल रहा है। तब सचिन को कंधे पर बिठाकर क्रिकेट के भगवान के लिए सबसे बड़ा मोमेंट लाने वाला विराट इस बार अपने प्राइम फॉर्म में देश को तीसरा वर्ल्ड कप दे सकता है।