Pakistan Army Atrocity in Balochistan: पाकिस्तान सरकार पर हमेशा से आरोप लगते रहे हैं कि वो बलूची लोगों का जबरन अपहरण करता है. ऐसे ही मामले में एक बलूची परिवार ब्रिटिश पीएम ऋषि सुनक के आधिकारिक आवास के बाहर धरने पर बैठा हुआ है. आप भी सोच रहे होंगे कि बलूची परिवार ने इस तरह का फैसला क्यों किया.
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Salia Marri Proest: पाकिस्तान का एक परिवार ब्रिटिश पीएम ऋषि सुनक के आधिकारिक आवास 10 डाउनिंग स्ट्रीट के बाहर धरने पर बैठा हुआ है. आप भी हैरान होंगे कि आखिर बात क्या है. ब्रिटिश पीएम के घर के बाहर पाकिस्तानी नागरिक ताज मुहम्मद के संबंधी धरना दे रहे हैं. दरअसल बलोच व्यापारी ताज मुहम्मद के अपहरण से जुड़ा हुआ यह मामला है.परिवार का आरोप है कि पाकिस्तान की फौज और खुफिया एजेंसी ने कराची में ताज का जबरन अपहरण कर लिया. परिवार का कहना है कि धरने पर बैठने का मकसद दुनिया के देशों के ध्यान को आकर्षित करना है कि किस तरह पाकिस्तान की फौज बलूची लोगों पर जुल्म ढा रही है.
ताज मुहम्मद का परिवार दे रहा धरना
लापता ताज मुहम्मद की पत्नी सालिया मारी ने कहा कि वो लगातार पाकिस्तान सरकार के खिलाफ आवाज उठाती रहीं हैं. पिछले चार साल से वो जबरन बंधक बनाए गए बलूची लोगों के लिए आंदोलन बुलंद करती रहीं हैं. पाकिस्तान की सरकार आज तक उनके पति को ना किसी कोर्ट या मीडिया के सामने नहीं पेश कर सकी है. उन्होंने पाकिस्तानी एजेंसिंयों के सामने बार बार अपील की. लेकिन उन्हें संतोषजनक जवाब नहीं मिला.
'बलूची लोगों पर हो रहा जोर जुल्म'
मारी कहती हैं कि बलोच नागरिक होने के नाते उन्हें भी डर सता रहा है कि पाकिस्तानी एजेंसी उन्हें भी अगवा कर सकती हैं. जब उनसे पूछा गया कि पूरा मामला बलूचिस्तान और पाकिस्तानी एजेंसिंयों से जुड़ा हुआ है ऐसे में ब्रिटिश पीएम के घर के सामने धरने पर बैठने का क्या मतलह है. इस सवाल के जवाब में वो कहती हैं कि उनका मकसद सिर्फ इतना है कि ब्रिटेन इस मामले में पाकिस्तान पर दबाव बनाए ताकि बलूची लोगों का जबरन अपहरण रुक सके. बलूचिस्तान में जो लोग जबरन लापता किए गए हैं उनकी सुरक्षित रिहाई हो सके.
पाकिस्तान को एक्सपोज करने की कवायद
रिपोर्ट के मुताबिक सपराह ने बलूची नेताओं से अपील करते हुए कहा है कि ज्यादा से ज्यादा लोग पाकिस्तान के जोर जुल्म के खिलाफ ब्रिटिश पीएम के घर के बाहर धरने पर बैठें ताकि पाकिस्तान पर दबाव बन सके. वो सिर्फ अपने पति की रिहाई की बात नहीं कर रहीं. उनके एजेंडे में वो हजारों लापता बलूची लोग हैं जिनके बारे में कोई जानकारी नहीं मिल पा रही है. इन सबके बीच अल्टीमेटम देते हुए बलूच यकजहती कमेटी-केच ने इस बात पर जोर दिया कि पाकिस्तान को यह बताना होगा कि वे बलूच नरसंहार के मुद्दे को संबोधित करने के बारे में कितने गंभीर हैं. पाकिस्तान को यह साबित करना होगा कि बलूचिस्तान में जबरन गायब होने, एक्स्ट्रा जूडिशियल हत्याएं और अवैध कामों पर लगाम लग सकेगा.