मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश को जोड़ने वाला चंबल पुल बीते 4 महीनों से बंद होने के चलते लोग बड़ी परेशानी से जूझ रहे है. उन्हें 30 किलोमीटर की यात्रा 90 किलोमीटर घूमकर पूरी करनी पड़ रहा है.
चार महीने से बंद है पुल
चार महीने से भिंड और इटावा का मार्ग पर बना चंबल नदी का पुल क्षतिग्रस्त होने से बंद है. मरम्मत कार्य के लिए मांगा गया समय भी कब का पूरा हो चुका है, लेकिन अब तक पुल पर आवागमन दोबारा शुरू नहीं हो पा रहा है. इस पुल की लंबाई करीब एक किलोमीटर है, ऐसे में यहां से गुजरने वाले यात्रियों के लिए सबसे ज़्यादा परेशानी खड़ी हो रही है.
सफर में दो बार बदलना पड़ता है वाहन
भिंड से इटावा जाने वाले यात्रियों को भिंड शहर से बस या ऑटो रिक्शा से 15 किलोमीटर का सफर करना पड़ता है. इसके बाद उन्हें एक किलोमीटर लम्बा पुल पैदल पर करना पड़ता है. क़ई यात्रियों के साथ सामान और छोटे बच्चे होते हैं. ऐसे में उनके लिए परेशानी और बढ़ जाती है. इसके बाद से उन्हें पुल के पार से किसी और साधन सफर करना पड़ता है.
चार महीने अटक रहा रिपेयरिंग का काम
शुरू में चंबल पुल को 15 दिनों के लिए बंद किया गया था, लेकिन अब चार महीने हो गए हैं. लगातार तारीख आगे बढ़ रही हैं. पहले 3 अक्टूबर को पुल शुरू होने के आदेश हुए थे, फिर 15 अक्टूबर दी गई, उसके बाद 20 अक्टूबर को पुल शुरू होने की संभावना था, लेकिन अबतक पुल बंद रहने के आदेश इटावा प्रशासन ने जारी किए हैं.
इजीनियर ने बताया ये कारण
पुल पर मरम्मत कार्य कर रही कंपनी के इंजीनियर सनाउर रहमान ने बताया कि पुल का मरम्मत कार्य जारी है. यह पुल राष्ट्रीय राजमार्ग 719 का अहम और एकल रास्ता है, इसलिए जनता को परेशानी से जूझना पड़ रहा है. पुल के निचले हिस्सा का कार्य लगभग पूरा हो चुका है. अभी ऊपर का कार्य प्रगति पर है, जिसे जल्द से जल्द पूरा करने का प्रयास किया जा रहा है.
1976 में में बना था पुल
साल 1976 में उत्तर प्रदेश और मध्यप्रदेश की सीमा पर चंबल नदी पर इटावा और भिंड ज़िले की सीमा को जोड़ने वाले चंबल पुल का निर्माण हुआ था. चार दशकों से ज़्यादा समय तक यह पुल दोनों राज्यों में आवागमन का सुगम रास्ता बना रहा, लेकिन बीते 3 वर्षों में इस पुल की हालत ख़स्ता हो गयी है. 2019 से लेकर 2022 तक यह ब्रिज 5 बार क्षतिग्रस्त हो चुका है.
90 किलोमीटर हो गया 35KM की सफर
मध्य प्रदेश और उत्तर प्रदेश को जोड़ने बाला NH-719 भिंड-इटावा सीमा पर चंबल नदी पर बने पुल से प्रतिदिन हजारों लोग आवागमन करते हैं, लेकिन बीते चार महीने से पुल बंद होने के चलते लोगों को बड़ी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है. सभी प्रकार के वाहन का आवागमन पुल पर प्रतिबंधित है. ऐसे में लोग पैदल ही एक किलोमीटर लंबा पुल पार करने को मजबूर हैं.
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