BJP के पूर्व विधायक और पूर्व ब्‍लॉक प्रमुख को 3-3 साल सजा, MP MLA कोर्ट का 20 साल बाद फैसला
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BJP के पूर्व विधायक और पूर्व ब्‍लॉक प्रमुख को 3-3 साल सजा, MP MLA कोर्ट का 20 साल बाद फैसला

Basti MP-MLA Court : 2003 के एमएलसी चुनाव (MLC Election) में मतगणना के दौरान पुनर्मतगणना को लेकर विवाद हुआ था. इसमें प्रशासनिक अधिकारियों के साथ मारपीट और कुछ वैलेट पेपर को लूटने के मामले में मुकदमा दर्ज किया गया था. अब कोर्ट ने सजा का ऐलान किया है. 

Former MLA Sanjay Jaiswal

राघवेंद्र सिंह/बस्‍ती : बस्ती जिले की एमपी-एमएलए कोर्ट ने 20 साल बाद आखिरकार 7 माननीयों को सजा का ऐलान किया है. 2003 के एमएलसी चुनाव (MLC Election) में मतगणना के दौरान पुनर्मतगणना को लेकर विवाद हुआ था. इसमें प्रशासनिक अधिकारियों के साथ मारपीट और कुछ वैलेट पेपर को लूटने के मामले में मुकदमा दर्ज किया गया था. 

इनके खिलाफ कोर्ट ने सुनाया फैसला 
कोर्ट ने पूर्व विधायक संजय जायसवाल, पूर्व ब्लॉक प्रमुख त्रयंबक नाथ पाठक, पूर्व ब्लॉक प्रमुख महेश सिंह, आदित्य विक्रम सिंह, कंचन सिंह, अशोक सिंह और पूर्व विधायक स्वर्गीय कमाल यूसुफ मलिक के बेटे इरफान मलिक को तीन-तीन साल की सजा और दो-दो हजार जुर्माना लगाया गया है. 

एमएलसी चुनाव में हुआ था बवाल 
बता दें कि साल 2003 में एमएलसी चुनाव में बड़े बिजनेस मैन मनीष जायसवाल एमएलसी का चुनाव जीत गए थे. इसके बाद काउंटिंग सेंटर पर रीकाउंटिंग के लिए विवाद होने लगा. इसमें अभियुक्तों ने तहसील के काउंटिंग सेंटर में जबरन घुसने लगे, पुलिस कर्मियों के साथ धक्का-मुक्की करने लगे. तत्कालीन सीओ ओम प्रकाश सिंह के साथ भी हाथापाई हो गई. 

पुलिस अफसरों से मारपीट का आरोप 
वैलेट पेपर गायब कर दिए गए थे, इस घटना के बाद प्रशासन ने अभियुक्त संजय जायसवाल, महेश सिंह, त्रंबक पाठक, आदित्य विक्रम सिंह, कंचन सिंह, अशोक सिंह और इरफान के खिलाफ धारा 147, 323, 353, 332, 382 और 136 लोक प्रतिनिधित्व अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज किया गया था. सरकारी वकील देवानंद सिंह ने बताया की 2003 में एमएलसी चुनाव की काउंटिंग में हंगामा करने, प्रशासनिक अधिकारियों से हाथपाई करने के मामले में सुनवाई चल रही थी, सरकारी अधिकारियों की गवाही और साक्ष्य से अभियुक्तों का दोष सिद्ध होने पर कोर्ट ने तीन साल की सजा का ऐलान किया गया.

अभियुक्‍तों का यह है राजनीतिक करियर 
बता दें कि संजय जायसवाल एक बार कांग्रेस और एक बार बीजेपी से विधायक रह चुके हैं. पिछले चुनाव में वो हार गए थे. वहीं, पूर्व प्रमुख त्रयंबक नाथ पाठक पिछले विधान सभा चुनाव में सपा के टिकट पर चुनाव लड़े थे लेकिन हार का सामना करना पड़ा था. पूर्व ब्लॉक प्रमुख महेश सिंह 5 बार से गौर ब्लॉक के प्रमुख थे. पिछले चुनाव में वो हार गए. कप्तानगंज विधानसभा से चुनाव लडने की तयारी कर रहे थे, लेकिन तीन साल की सजा का ऐलान होने के बाद अब यह लोग चुनाव नहीं लड़ सकेंगे. 

जमानत के लिए 15 दिन का समय मांगा 
कोर्ट के आदेश ने इनके राजनीतिक भविष्य पर ग्रहण लगा दिया है, फिलहाल सभी अभियुक्तों ने कोर्ट से जमानत के लिए 15 दिन का समय मांगा है. हो सकता है कि सजा के खिलाफ अभियुक्त हाईकोर्ट में अपील करें. 

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