Trending News : बिहार के पूर्णिया में एक व्यक्ति को अपनी दो पत्नियों के बीच समय बांटने का समझौता करना पड़ा. परिवार परामर्श केंद्र के फैसले के की मुताबिक वह हफ्ते में तीन-तीन दिन दोनों के साथ रहेगा और जबकि एक दिन रेस्ट करेगा.
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Trending News : बिहार के पूर्णिया जिले में एक अनोखा समझौता हुआ, जहां एक व्यक्ति को अपनी दो पत्नियों के बीच समय बांटकर रहना होगा. परिवार परामर्श केंद्र ने फैसला सुनाया कि पति सप्ताह में तीन-तीन दिन दोनों पत्नियों के साथ रहेगा, जबकि एक दिन उसे पूरी तरह से आराम मिलेगा.
दिलचस्प बात यह है कि "वीकऑफ" के दिन भी पति अपनी इच्छा से किसी एक पत्नी के साथ समय बिता सकता है. इस अनोखे फैसले ने पूरे इलाके में चर्चा का माहौल बना दिया है और सोशल मीडिया पर भी लोग इसे लेकर तरह-तरह की प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं.
पहली पत्नी को बिना बताए रचाई दूसरी शादी
यह मामला पूर्णिया के रुपौली थाना क्षेत्र का है, जहां एक व्यक्ति ने सात साल पहले दूसरी शादी कर ली थी, लेकिन इस बारे में उसने अपनी पहली पत्नी को कोई जानकारी नहीं दी. पहली पत्नी से उसके दो बच्चे भी हैं. जब उसे पति की दूसरी शादी के बारे में पता चला, तो उसने विरोध किया, जिससे दोनों के बीच झगड़े होने लगे.
हालात ऐसे बन गए कि पति पहली पत्नी और बच्चों को छोड़कर दूसरी पत्नी के साथ रहने लगा. पहली पत्नी का आरोप है कि पति ने न केवल उन्हें छोड़ दिया, बल्कि बच्चों की शिक्षा और खर्च उठाना भी बंद कर दिया. इसके बाद उसने पुलिस अधीक्षक कार्तिकेय शर्मा से शिकायत की, जिन्होंने मामले को परिवार परामर्श केंद्र के पास भेज दिया, जहां यह अनोखा समझौता कराया गया.
परिवार परामर्श केंद्र में सुलझाया गया विवाद
पुलिस परिवार परामर्श केंद्र ने 14 फरवरी को पति और उसकी दोनों पत्नियों को पेश होने का नोटिस भेजा. सुनवाई के दौरान पहली पत्नी ने अपनी आपत्ति दर्ज कराई, जिसके बाद केंद्र के सदस्यों ने पति को बिना तलाक दूसरी शादी करने के लिए फटकार लगाई.
दूसरी पत्नी को भी इस मामले में गलत ठहराया गया. पति ने अपनी गलती स्वीकारते हुए कहा कि वह दोनों पत्नियों और उनके बच्चों की जिम्मेदारी निभाना चाहता है, लेकिन पहली पत्नी उसे दूसरी पत्नी के पास जाने से रोकती है, जिससे घर में लगातार झगड़े होते रहते हैं.
समझौते के तहत हुआ पति का बंटवारा
मामले को सुलझाने के लिए परिवार परामर्श केंद्र ने फैसला सुनाया कि पति सप्ताह में चार दिन पहली पत्नी और तीन दिन दूसरी पत्नी के साथ रहेगा. लेकिन दूसरी पत्नी ने इस फैसले पर आपत्ति जताई, जिससे विवाद बढ़ गया. आखिरकार, केंद्र ने सप्ताह के सात दिन को बराबर बांटते हुए पति को तीन-तीन दिन दोनों पत्नियों के साथ रहने का आदेश दिया. इसके अलावा, सप्ताह का एक दिन पति को अपनी मर्जी से बिताने की छूट दी गई. साथ ही, उसे अपनी पहली पत्नी को हर महीने 4,000 रुपये बच्चों की पढ़ाई और पालन-पोषण के लिए देने का निर्देश दिया गया. इस फैसले पर दोनों पक्ष सहमत हो गए और मामला सुलझ गया.