Canada Next PM: कनाडा में अगले प्रधानमंत्री पद की दौड़ में आगे चल रहे भारतवंशी चंद्र आर्या को पूर्व पीएम जस्टिन ट्रूडो की लिबरल पार्टी ने इस रेस से बाहर करने का फैसला किया है.
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Canada MP Chandra Arya: खालिस्तानियों से अपने प्रेम के चलते भारत से रिश्ते खराब करने कनाडा में पूर्व प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो की भारत से नफरत खत्म नहीं हो रही है. हालांकि इसका उन्हें बड़ा खामियाजा भी भुगतना पड़ा है. अब अगले प्रधानमंत्री के चुनाव से ट्रूडो की लिबरल पार्टी पीएम पद की रेस में आगे चल रहे भारतवंशी सांसद चंद्र आर्या को इस रेस से बाहर करने का फैसला किया है.
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कई भारतवंशियों ने पेश की दावेदारी
कनाडा में अगले पीएम को चुनने की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है और इसमें कई भारतवंशियों ने अपनी दावेदारी जताई है. इसमें चंद्र आर्या का नाम सबसे आगे था. लेकिन अब लिबरल पार्टी के नेता चंद्र आर्या ने X पर पोस्ट करके कहा है कि लिबरल पार्टी ऑफ कनाडा ने उन्हें नेतृत्व की दौड़ में शामिल होने की इजाजत नहीं दी है.
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यह प्रधानमंत्री की वैधता पर सवाल
चंद्र आर्या ने अपनी पोस्ट में लिखा, ''आज, मुझे कनाडा की लिबरल पार्टी द्वारा सूचित किया गया कि मुझे नेतृत्व की रेस में शामिल होने की इजाजत नहीं दी जाएगी. मैं उनके आधिकारिक बयान की प्रतीक्षा कर रहा हूं. यह फैसला चुनाव और कनाडा के अगले प्रधानमंत्री की वैधता पर गंभीर सवाल उठाता है. मैं कनाडा के सभी लोगों के लिए कड़ी मेहनत करने के लिए प्रतिबद्ध हूं. मैं आने वाली पीढ़ियों के लिए एक सुरक्षित और समृद्ध भविष्य सुनिश्चित करने की कोशिश जारी रखूंगा.''
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समर्थकों का आभार
इस मौके पर चंद्र आर्य ने अपने समर्थकों के प्रति आभार भी जताया. उन्होंने कहा, ''सबसे महत्वपूर्ण बात, मैं कनाडा में अपने सैकड़ों वॉलंटियर्स के प्रति अपना हार्दिक आभार व्यक्त करना चाहता हूं, जिन्होंने पिछले 2 सप्ताह में मेरे लिबरल पार्टी के नेतृत्व के चुनावी अभियान में समर्थन जुटाने के लिए दिन-रात अथक परिश्रम किया है. आपका अटूट समर्पण मुझे प्रेरित करता है. मैं उन हजारों कनाडाई लोगों के प्रति बहुत कृतज्ञता महसूस करता हूं, जिन्होंने लिबरल पार्टी में शामिल होकर मेरे विचारों और मेरी नीतियों का समर्थन किया. आपका समर्थन मेरे लिए बहुत मायने रखता है - धन्यवाद!''
यदि कोई भारतवंशी कनाडा का प्रधानमंत्री बनता तो यह खालिस्तानियों का गढ़ बन चुके कनाडा में रह रहे खालिस्तानियों के लिए बड़ा झटका होता. लेकिन ट्रूडो और उनकी पार्टी शायद ऐसा नहीं चाहती है क्योंकि सांसद चंद्र आर्या ने प्रधानमंत्री चुनाव में दावेदारी पेश करते हुए कहा था कि कनाडा को एक ऐसे पीएम की जरूरत है जो कड़े फैसले ले सके.