Bengaluru Metro: बेंगलुरू में हादसा, मेट्रो का निमार्णाधीन पिलर गिरने से मां-बेटे की मौत
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Bengaluru Metro: बेंगलुरू में हादसा, मेट्रो का निमार्णाधीन पिलर गिरने से मां-बेटे की मौत

BMRCL का एक निमार्णाधीन पिलर गिरने से एक महिला और उसके बेटे की मौत हो गई. निमार्णाधीन मेट्रो का खंभा उनके दोपहिया वाहन पर गिरने से महिला और उसके तीन साल के बेटे की मौत हो गई, जबकि उसका पति और एक अन्य बेटा घायल हो गया.

Bengaluru Metro: बेंगलुरू में हादसा, मेट्रो का निमार्णाधीन पिलर गिरने से मां-बेटे की मौत

Bangalore Metro Pillar Collapse​: बेंगलुरू मेट्रो रेल कॉरपोरेशन लिमिटेड (बीएमआरसीएल) का मंगलवार को एक निमार्णाधीन पिलर गिरने से एक महिला और उसके बेटे की मौत हो गई. निमार्णाधीन मेट्रो का खंभा उनके दोपहिया वाहन पर गिरने से महिला और उसके तीन साल के बेटे की मौत हो गई, जबकि उसका पति और एक अन्य बेटा घायल हो गया. मृतकों की पहचान 25 वर्षीय तेजस्विनी और ढाई साल के बेटे विहान के रूप में हुई है. हादसा उस समय हुआ जब स्कूटी पर सवार परिवार एचबीआर लेआउट के पास मेट्रो निर्माण स्थल से गुजर रहा था.

कंपनी के खिलाफ शिकायत दर्ज

पीड़ित परिवार ने ठेकेदार और नागार्जुन कंस्ट्रक्शन कंपनी (एनसीसी) के खिलाफ शिकायत दर्ज कराई है. पुलिस उपायुक्त (डीसीपी) भीमाशंकर गुलेड ने पुष्टि की कि पुलिस को इस संबंध में एक शिकायत मिली है. उन्होंने कहा कि एक्सपर्ट्स तकनीकी पहलू समेत घटना की रिपोर्ट देंगे. बीएमआरसीएल ने भी हादसे की जांच के आदेश दिए हैं. अपर आयुक्त चंद्रशेखर ने कहा कि पता चला है कि लौह के खंभे में गड़बड़ी थी और प्रथम ²ष्टया कार्यस्थल पर लापरवाही भी पाई गई है. उन्होंने कहा कि विशेषज्ञ टीम निरीक्षण और सत्यापन करेगी.

पुलिस के मुताबिक, सिविल इंजीनियर लोहित कुमार अपनी तेजस्विनी को मान्यता टेक पार्क में अपने कार्यस्थल पर और दो बेटों को एक चाइल्ड केयर सेंटर छोड़ने जा रहे थे. लोहित कुमार और एक अन्य बेटा इस हादसे में बाल-बाल बच गए. उन्हें मामूली चोटें आई हैं. तेजस्विनी और विहान के सिर में चोटें आईं और ज्यादा खून बह जाने के कारण उन्होंने दम तोड़ दिया.

मृतक बच्चे के दादा ने बताया कि उन्हें लोहित का फोन आया था, लेकिन जाम होने के कारण मौके पर नहीं पहुंच सके. बाद में जब वे अस्पताल गए तो उन्हें अपने एक पोते और बहू की मौत के बारे में पता चला. उन्होंने कहा, मैं एक सेवानिवृत्त सरकारी कर्मचारी हूं. निर्माण कार्य अवैज्ञानिक तरीके से किया गया है. कम से कम 30 मीटर की दूरी रखी जानी चाहिए थी. बीएमआरसीएल ने सुरक्षा के कोई उपाय नहीं किए हैं.

कार्यस्थलों पर वाहनों को पांच से दस फीट की दूरी पर जाने की अनुमति है. क्या होता अगर लोहे का खंभा बस पर गिर जाता तो कईयों की जान चली जाती. उन्होंने कहा, यह मेरा दुखद दिन है. मैं कुछ भी कहने में सक्षम नहीं हूं. मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने घटना पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा कि वह बेंगलुरु मेट्रो रेल कॉपोर्रेशन लिमिटेड (बीएमआरसीएल) द्वारा निर्माण कार्य के बारे में सभी जानकारी प्राप्त करेंगे.

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