अफगानी महिलाओं पर भर-भरकर किए जुल्म, पढ़ाई-नौकरी से रोका, अब सलाखों के पीछे सड़ेगा तालिबान चीफ?
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अफगानी महिलाओं पर भर-भरकर किए जुल्म, पढ़ाई-नौकरी से रोका, अब सलाखों के पीछे सड़ेगा तालिबान चीफ?

Taliban Leaders Arrest Warrant: अफगानिस्‍तान में लड़कियों-महिलाओं पर जुल्‍म ढाने वाले तालिबानी लीडर्स अब जेल में सड़ेंगे. अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायालय (आईसीसी) ने तालिबान के सुप्रीम लीडर और चीफ जस्टिस का अरेस्‍ट वॉरंट जारी करने के लिए कहा है.

अफगानी महिलाओं पर भर-भरकर किए जुल्म, पढ़ाई-नौकरी से रोका, अब सलाखों के पीछे सड़ेगा तालिबान चीफ?

Taliban Chief Arrest Warrant: अफगानिस्तान में लड़कियों को पढ़ाई और नौकरी करने से रोकने वाले, सार्वजनिक जगहों पर जाने से रोकने जैसे अत्‍याचार करने वाले तालिबान की अब खैर नहीं है. इंटरनेशनल क्रिमिनल कोर्ट ने तालिबान के सुप्रीम लीडर हैबतुल्लाह अखुंदजादा और इस्लामिक अमीरात ऑफ अफगानिस्तान के मुख्य न्यायाधीश अब्दुल हकीम हक्कानी के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी करने की बात कही है.

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तालिबानी चीफ और चीफ जस्टिस होंगे अरेस्‍ट

अफगानी महिलाएं इस फैसले से काफी खुश हैं और एक महिला अधिकार समूह ने महिलाओं पर अत्याचार के आरोप में तालिबान नेताओं को गिरफ्तार करने के संबंध में आए आईसीसी के फैसले की सराहना की है. अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायालय के मुख्य अभियोजक करीम खान ने बयान जारी किया कि उन्होंने नेता हिबतुल्लाह अखुंदजादा सहित 2 शीर्ष तालिबान अधिकारियों के लिए गिरफ्तारी वारंट का अनुरोध किया है.

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2021 से महिलाओं पर हो रहे थे असहनीय अत्‍याचार

साल 2021 में देश की सत्ता पर नियंत्रण लेने के बाद से तालिबान ने महिलाओं को नौकरियों, अधिकांश सार्वजनिक स्थानों पर जाने पर रोक लगा दी थी. साथ ही लड़कियों को छठवीं क्‍लास से आगे की पढ़ाई करने पर भी रोक लगा दी थी.

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महिलाओं के लिए बड़ी उपलब्धि

एक बयान में महिला अधिकार समूह अफगान विमेंस मूवमेंट फॉर जस्टिस एंड अवेयरनेस ने आईसीसी के फैसले पर जश्न मनाया और इसे एक महान ऐतिहासिक उपलब्धि बताया. समूह ने कहा, ''हम इस उपलब्धि को अफगान महिलाओं की ताकत और इच्छाशक्ति का प्रतीक मानते हैं. हमें लगता है कि यह कदम देश में जवाबदेही और न्याय का एक नया अध्याय शुरू करेगा.''

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महिलाओं पर अत्‍याचार ढाने के साथ-साथ तालिबान ने उन लोगों को भी निशाना बनाया जिन्हें वह अपने खिलाफ मानते थे. इन उत्पीड़नों में हत्या, कैद, यातना, यौन हिंसा और अगवा करने जैसी घटनाएं शामिल हैं.

लड़कियों को पढ़ाई से रोकना त्रासदी

तालिबान सरकार ने अब तक अदालत के इस कदम पर कोई टिप्पणी नहीं की है. अफगानिस्तान में संयुक्त राष्ट्र मिशन ने भी कहा कि यह एक त्रासद और हास्यास्पद बात है कि लड़कियां हर स्तर पर शिक्षा से वंचित रह जाती हैं. (एजेंसी इनपुट के साथ)

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