Goa Accident: शराब पीकर बस ड्राइवर ने मजदूरों की झोपड़ी को मारी टक्कर; 4 लोगों की मौत
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Goa Accident: शराब पीकर बस ड्राइवर ने मजदूरों की झोपड़ी को मारी टक्कर; 4 लोगों की मौत

Goa Road Accident: गोवा में एक निजी बस ने मजदूरों की झुग्गी को टक्कर मार दी. इस हादसे में 4 मजदूरों की मौत हो गई है. पुलिस ने बताया है कि ड्राइवर नशे में गाड़ी चला रहा था.

Goa Accident: शराब पीकर बस ड्राइवर ने मजदूरों की झोपड़ी को मारी टक्कर; 4 लोगों की मौत

Goa Road Accident: दक्षिण गोवा जिले के एक औद्योगिक इलाके में एक निजी बस ने सड़क किनारे मौजूद दो झुग्गियों को टक्कर मार दी जिससे चार मजदूरों की मौत हो गई. हादसे में पांच लोग गंभीर रूप से घायल हो गए. पुलिस ने रविवार को यह जानकारी दी. उन्होंने बताया कि यह दुर्घटना शनिवार रात करीब 11.30 बजे वर्ना इलाके में हुई, जब सड़क निर्माण कार्य में लगे मजदूर झुग्गियों के अंदर सो रहे थे. 

नशे में था ड्राइवर
पुलिस उपाधीक्षक संतोष देसाई ने कहा कि बस चालक की पहचान पास के गांव कार्टोलिम निवासी भरत गोवेकर के रूप में हुई है. उन्होंने बताया कि चालक को हिरासत में लेकर पूछताछ की जा रही है. उन्होंने बताया कि चालक की मेडिकल जांच से पुष्टि हुई है कि घटना के समय वह शराब के नशे में था. एक मजदूर ने दावा किया कि बस चालक उस समय शराब के नशे में था और उसने अन्य मजदूरों को धमकी दी कि यदि वे घटना के बारे में किसी से शिकायत करेंगे तो उन्हें जान से मार देगा. 

अस्पताल में भर्ती
एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि एक निजी कंपनी के कर्मचारियों को ले जा रही बस ने दो झोपड़ियों को टक्कर मार दी, जिनमें मजदूर सो रहे थे. उन्होंने कहा, "चार मजदूरों की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि पांच गंभीर रूप से घायल हो गए और उन्हें गोवा मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में भर्ती कराया गया."

मजदूरों को धमकी
एक मजदूर ने पत्रकारों को बताया कि बस उनकी झुग्गियों में जा घुसी. "घटना के बाद, बस चालक ने हमें किसी से शिकायत करने पर जान से मारने की धमकी दी. ड्राइवर शराब के नशे में था," रूपेंद्र कुमार माथुर ने दावा किया, जिनके चाचा रमेश माथुर और भाई अनिल माथुर घटना में मारे गए लोगों में से थे. उन्होंने यह भी दावा किया कि चिकित्सा सहायता घटनास्थल पर देर से पहुंची जिसके कारण पीड़ितों को मडगांव के जिला अस्पताल ले जाने में देरी हुई.

इसलिए बची जान
रूपेंद्र माथुर ने यह भी कहा कि वह दुर्घटना प्रभावित झोंपड़ियों में से एक में रह रहे थे, लेकिन बच गए क्योंकि वह एक मोबाइल फोन कॉल के लिए बाहर आए थे. उन्होंने कहा, "मोबाइल फोन कॉल पर तीन और लोग जो (झोपड़ियों से) बाहर थे, उन्हें बचा लिया गया."

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