Polygamy Ban: असम के सीएम हिमंत बिस्वा सरमा राज्य में बहुविवाह पर रोक लगाने की तैयारियों में जुटे हुए हैं. इस सिलसिले में उन्होंने 4 सदस्यों की समिति का गठन किया है, जो इस बात की जांच करेगी कि इसको लेकर कानून बनाने का हक राज्य सरकार के पास है या नहीं.
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Polygamy in Assam: असम में बहुविवाह पर पाबंदी लगाने के लिए असम सरकार एक्शन में है. 9 मई 2023 को असम के सीएम हिमंता बिस्वा सरमा ने कहा था कि राज्य सरकार असम में बहुविवाह पर पाबंदी लगाएगी. उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा, 'एक से ज्यादा विवाह करने पर पाबंदी लगाने के लिए आने वाले कुछ वक्त में असम सरकार ने एक एक्सपर्ट कमेटी बनाने का फैसला किया है. इसी कड़ी में सीएम सरमा के ऐलान के बाद असम सरकार ने एक कमेटी का गठन किया है. यह कमेटी बहुविवाह को खत्म करने के लिए कानून बनाने के लिए राज्य विधानमंडल की विधायी क्षमता की जांच करेगी.
"बहुविवाह पर पाबंदी लगाना अच्छी पहल"
इस कमेटी में चार लोगों के नाम शामिल है. असम में बहुविवाह रोकने के लिए बनी कमेटी में एडवोकेट नेकिबुर जमां का नाम शामिल हैं. नेकिबुर जमान नॉर्थ ईस्ट हज कमेटी के चेयरमैन भी हैं. जी सलाम ने नेकीबुर जमां से जानने की कोशिश की, कि बहु विवाह पर रोक लगाने के लिए गठित की गई कमेटी में उन्हें क्या जिम्मेदारी दी गई है. इसके जवाब में उन्होंने बताया कि बहुविवाह पर पाबंदी लगाने वाली कोशिश बहुत अच्छी है. क्योंकि, अगर बहूविवाह पर रोक नहीं लगाई जाती है तो ऐसे में जनसंख्या वृद्धि होती रहेगी.
"सरकार पर आरोप लगाना ठीक नहीं"
जब उनसे ये पूछा गया कि किया बहुविवाह बंद करने का जो प्रयास किया जा रहा है वह मुसलमानों को टारगेट करने के लिए किया रहा है. तो इस पर उन्होंने कहा कि यह सरासर गलत है. मुस्लिम इलाकों में पिछली सरकार ने कभी डेवलपमेंट का काम नहीं किया और अब बहुविवाह पर रोक लगाने के लिए सरकार पर आरोप लगाना ठीक नहीं है. बहुविवाह एक गलत प्रचलन है, यह बंद होना चाहिए. नेकिबुर जमां ने पूछा गया कि क्या मुस्लिम पर्सनल लॉ बोर्ड के आर्टिकल 25 को वैध किया जाएगा. तो इस के जवाब में उन्होंने साफ तौर पर कहा कि यह अभी कहना गलत होगा क्योंकि विशेषज्ञ कमेटी में चर्चा करेंगे और विचार के बाद ही रिपोर्ट जमा कराई जाएगी.
Report: Sharifuddin Ahmed
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