लड़के ने कंपनी से छुट्टी लेने के लिए बना डाला दादाजी का फर्जी डेथ सर्टिफिकेट, गर्लफ्रेंड है वजह?
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लड़के ने कंपनी से छुट्टी लेने के लिए बना डाला दादाजी का फर्जी डेथ सर्टिफिकेट, गर्लफ्रेंड है वजह?

Fake Death Certificate: सिंगापुर में एक युवक ने अपनी प्रेमिका के धोखे से परेशान होकर काम से छुट्टी पाने के लिए दादाजी का फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बना डाला. 29 वर्षीय भरत गोपाल नवंबर 2022 से दिसंबर 2023 तक एक सिक्योरिटी फाइनेंसिंग ऑपरेशन एनलिस्ट के रूप में काम कर रहे थे.

 

लड़के ने कंपनी से छुट्टी लेने के लिए बना डाला दादाजी का फर्जी डेथ सर्टिफिकेट, गर्लफ्रेंड है वजह?

Grandfather Fake Death Certificate: सिंगापुर में एक युवक ने अपनी प्रेमिका के धोखे से परेशान होकर काम से छुट्टी पाने के लिए दादाजी का फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बना डाला. 29 वर्षीय भरत गोपाल नवंबर 2022 से दिसंबर 2023 तक एक सिक्योरिटी फाइनेंसिंग ऑपरेशन एनलिस्ट के रूप में काम कर रहे थे. नवंबर 2023 में, भरत की प्रेमिका ने उसे धोखा दिया, जिससे वह बहुत परेशान रहने लगा और उसका काम में मन नहीं लगता था.

 

छुट्टी के लिए बनाया झूठा बहाना

उसके पास चार दिन से ज्यादा की छुट्टी बाकी थी, लेकिन भरत ने अपने सुपरवाइजर से झूठ बोला कि उसके दादाजी की नींद में ही मृत्यु हो गई है. उसने 8 नवंबर से 10 नवंबर 2023 तक की कंपैशनेट लीव की मांग की. सुपरवाइजर ने उसकी बात मान ली. 

 

डेथ सर्टिफिकेट पत्र मांगा तो फंसा

जब सुपरवाइजर ने दादाजी का मृत्यु प्रमाण पत्र मांगा, तो भरत ने कहा कि वह उसके पिता के भारत से लौटने के बाद ही उसे प्राप्त कर पाएगा. इसके तुरंत बाद भरत ने अपने एक दोस्त के रिश्तेदार से, जिनकी जुलाई 2023 में मृत्यु हो गई थी, उनके मृत्यु प्रमाण पत्र की एक प्रति मांगी. उसने रिश्तेदार को बताया कि उसे अपने काम से अनुपस्थिति का कारण बताने के लिए इसकी आवश्यकता है.

 

लैपटॉप पर बनाया फर्जी प्रमाण पत्र

भरत ने अपने लैपटॉप पर अपने दादाजी का फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र बनाया और उसका एक हिस्सा अपने सुपरवाइजर को भेज दिया. उसने जानबूझकर दस्तावेज का निचला हिस्सा छोड़ दिया, जिसमें प्रमाण पत्र की प्रामाणिकता को सत्यापित करने के लिए एक क्यूआर कोड था. सुपरवाइजर के जोर देने पर उसने अंततः पूरा दस्तावेज भेज दिया. जब उसे पता चल गया कि उसका झूठ पकड़ा जाएगा, तो उसने दिसंबर में इस्तीफा दे दिया.

 

जुर्माना और सजा का प्रावधान

मृत्यु प्रमाण पत्र जारी करने वाला आव्रजन और चेकपॉइंट प्राधिकरण के अभियोजक ने 4,000 से 5,000 डॉलर के जुर्माने की मांग की और बताया कि कंपनी को उसके कार्यों के परिणामस्वरूप लगभग 500 डॉलर का नुकसान हुआ है, जो कि भरत के सवैतनिक शोक अवकाश से जुड़ी आय थी. मृत्यु प्रमाण पत्र बनाने के लिए एक अपराधी पर 10,000 डॉलर तक का जुर्माना, 10 साल तक की जेल या दोनों हो सकते हैं. भरत को 4,000 डॉलर का जुर्माना लगाया गया. इस घटना ने एक बार फिर साबित कर दिया कि झूठ और धोखे का सहारा लेने से अंततः नुकसान ही होता है.

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