झारखंड सरकार गिग वर्कर्स को कानूनी सुरक्षा देने के लिए "द झारखंड प्लेटफॉर्म बेस्ड गिग वर्कर्स (रजिस्ट्रेशन एंड वेलफेयर) बिल" लाने जा रही है. यह विधेयक डिलीवरी ब्वॉय, ई-कॉमर्स श्रमिकों और कैब चालकों को न्यूनतम वेतन, बीमा और अन्य सामाजिक सुरक्षा लाभ दिलाएगा. सरकार इस विधेयक को बजट सत्र में पेश करेगी.
Trending Photos
झारखंड सरकार राज्य में फूड डिलीवरी, ई-कॉमर्स कंपनियों के डिलीवरी ब्वॉय और कैब सेवाओं में काम करने वाले लोगों को कानूनी सुरक्षा प्रदान करने जा रही है. इसके लिए सरकार ने "द झारखंड प्लेटफॉर्म बेस्ड गिग वर्कर्स (रजिस्ट्रेशन एंड वेलफेयर) बिल" नामक विधेयक तैयार किया है. यह विधेयक गिग वर्कर्स को न्यूनतम वेतन, बीमा, स्टाइपेंड और अन्य सामाजिक सुरक्षा लाभ दिलाने के उद्देश्य से लाया जा रहा है.
विधानसभा में पेश होगा विधेयक
झारखंड सरकार का श्रम, नियोजन, प्रशिक्षण एवं कौशल विकास विभाग इस विधेयक का ड्राफ्ट तैयार कर चुका है. अब इसे विधि और वित्त विभाग की स्वीकृति के बाद कैबिनेट से पास करवाया जाएगा. फिर 24 फरवरी से शुरू हो रहे झारखंड विधानसभा के बजट सत्र में इसे पेश किया जाएगा.
गिग वर्कर्स के लिए यूनिक आईडी और वेलफेयर बोर्ड का गठन
इस विधेयक के तहत झारखंड के गिग वर्कर्स के लिए एक विशेष प्लेटफॉर्म विकसित किया जाएगा, जहां इनका पंजीकरण होगा और प्रत्येक श्रमिक को एक यूनिक आईडी दी जाएगी. इसके अलावा, गिग वर्कर्स के अधिकारों और समस्याओं की सुनवाई के लिए "झारखंड प्लेटफॉर्म बेस्ड गिग वर्कर्स वेलफेयर बोर्ड" का गठन भी किया जाएगा. इस बोर्ड के जरिए श्रमिकों की समस्याओं का समाधान किया जाएगा और उन्हें बेहतर कामकाजी माहौल प्रदान किया जाएगा.
झारखंड में 12 लाख गिग वर्कर्स को होगा फायदा
अनुमान लगाया गया है कि झारखंड में करीब 12 लाख लोग गिग वर्क से जुड़े हुए हैं. इन श्रमिकों की स्थिति का अध्ययन करने के लिए राज्य के श्रम विभाग ने पहले ही एक कमेटी गठित की थी. इसके आधार पर इस विधेयक को तैयार किया गया है ताकि इन श्रमिकों को न्यूनतम मजदूरी और अन्य अधिकार मिल सकें.
निजी कंपनियों में आरक्षण का पहले से ही है प्रावधान
गौरतलब है कि झारखंड सरकार पहले ही राज्य में काम करने वाली निजी कंपनियों में 40,000 रुपये मासिक सैलरी वाली नौकरियों में 75% पद राज्य के स्थानीय लोगों के लिए आरक्षित करने का कानून बना चुकी है. इस कानून का पालन नहीं करने पर सैकड़ों कंपनियों के खिलाफ कार्रवाई भी की गई है.
इनपुट एजेंसी- आईएएनएस
झारखंड की नवीनतम अपडेट्स के लिए ज़ी न्यूज़ से जुड़े रहें! यहाँ पढ़ें Jharkhand News in Hindi और पाएं Jharkhand latest news in hindi हर पल की जानकारी . झारखंड की हर ख़बर सबसे पहले आपके पास, क्योंकि हम रखते हैं आपको हर पल के लिए तैयार. जुड़े रहें हमारे साथ और बने रहें अपडेटेड!