Special Leave: सरकार ने इसे कर्मचारियों के लिए एक महत्वपूर्ण कल्याणकारी पहल बताया है. कहा गया है कि इससे जरूरतमंदों को जीवन बचाने में मदद मिलेगी. एक्सपर्ट्स का भी मानना है कि इस तरह के फैसले से अंगदान करने वालों की संख्या बढ़ेगी.
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Organ Transplant Policy: केंद्र सरकारी के कर्मचारियों के लिए खुशखबरी है. सरकार ने कहा है कि अगर आप अंगदान करते हैं तो अब आपको 42 दिन की विशेष छुट्टी मिलेगी. यह कदम एक तरफ मानवीय संवेदना को प्रमोट करने वाला तो है ही साथ ही सरकारी कर्मचारियों के लिए भी एक मौका लेकर आया है. राष्ट्रीय अंग और ऊतक प्रत्यारोपण संगठन NOTTO के अनुसार इस संबंध में कार्मिक और प्रशिक्षण विभाग ने पहले ही आदेश जारी कर दिए हैं.
दरअसल मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक NOTTO के प्रमुख डॉक्टर अनिल कुमार ने बताया कि यह आदेश हाल ही में जागरूकता बढ़ाने के लिए संगठन की वेबसाइट पर डाला गया है. अंगदान के लिए दाता को बड़े ऑपरेशन से गुजरना पड़ता है, जिसमें अस्पताल में भर्ती होने और उसके बाद रिकवरी के लिए समय की आवश्यकता होती है. इसे ध्यान में रखते हुए यह कदम उठाया गया है.
छुट्टी लेने के नियम आखिर क्या हैं...
DoPT के आदेश के अनुसार, यह 42 दिन की छुट्टी दाता के अंग निकालने की किसी भी प्रकार की सर्जरी के लिए मान्य होगी. यह छुट्टी आमतौर पर अस्पताल में भर्ती होने के दिन से शुरू होकर एक ही बार में ली जानी चाहिए. हालांकि आवश्यकता होने पर इसे सर्जरी से एक सप्ताह पहले भी लिया जा सकता है, बशर्ते कोई सरकारी पंजीकृत डॉक्टर इसकी सिफारिश करे.
कौन-कौन से अंग दान कर सकते हैं?
एक जीवित डोनर किडनी (क्योंकि एक किडनी शरीर के कार्यों को बनाए रखने के लिए पर्याप्त होती है), पैंक्रियास का हिस्सा (आधा पैंक्रियास पर्याप्त होता है) और लिवर का हिस्सा (जिसके कुछ हिस्से दान के बाद फिर से बढ़ सकते हैं) दान कर सकता है. यह प्रक्रिया डोनर की सेहत का पूरा ध्यान रखते हुए की जाती है.
उधर सरकार की तरफ से भी इसे कर्मचारियों के लिए एक महत्वपूर्ण कल्याणकारी पहल बताया गया है. कहा गया है कि इससे जरूरतमंदों को जीवन बचाने में मदद मिलेगी. एक्सपर्ट्स का भी मानना है कि इस तरह के फैसले से अंगदान करने वालों की संख्या बढ़ेगी. फोटो एआई